पटना: पटना हाइकोर्ट ने महाराजगंज के सांसद जनार्दन सिंह सीग्रीवाल और सासाराम के सांसद छेदी पासवान को अगले 15 दिनों में इस बात की जानकारी देने को कहा है कि उन्होंने लोकसभा चुनाव में नामांकन पत्र भरने के समय आपराधिक मामले की जानकारी शपथपत्र में दी थी या नहीं.
न्यायाधीश केके मंडल के पीठ ने बुधवार को दोनों भाजपा सांसदों को शपथपत्र दाखिल करने का निर्देश दिया. सासाराम के सांसद छेदी पासवान के खिलाफ वहां के एक मतदाता गंगा मिश्र ने याचिका दायर की है, जबकि महाराजगंज के सांसद जनार्दन सिंह सीग्रीवाल के खिलाफ पूर्व राजद सांसद और 2014 के लोकसभा चुनाव में उनके प्रतिद्बंद्बी रहे राजद के प्रत्याशी प्रभुनाथ सिंह ने याचिका दायर कर रखी है.
दोनों सांसदों को इसके पहले पटना हाइकोर्ट नोटिस जारी कर चुका है. कोर्ट ने बुधवार को कहा कि सुप्रीम कोर्ट के हाल ही में दागी सांसदों के खिलाफ दिये गये ताजा निर्देश के आलोक में हम इन मामलों में शीघ्र निर्णय लेना चाहते हैं. कोर्ट ने कहा कि पूर्व में चुनाव याचिकाएं वर्षो लंबित रहती थी. लेकिन, अब देरी नहीं होगी. इन याचिकाओं का जल्द ही निबटारा किया जायेगा.
छह लोकसभा क्षेत्रों के परिणामों को चुनौती
पटना हाइकोर्ट में वर्तमान में छह लोकसभा क्षेत्रों को लेकर याचिकाएं दायर की गयी हैं. वैशाली, झंझारपुर, सीतामढ़ी, सासाराम, महाराजगंज और नालंदा लोकसभा क्षेत्र के चुनाव परिणाम रद्द करने की मांग को लेकर सुनवाई चल रही है.
छेदी पासवान ने कहा कि मुङो पर कोई आपराधिक मुकदमा नहीं है. दुर्गावती जलाशय को चालू करने की मांग को लेकर आयोजित धरने में मैं शामिल था. इस संबंध में आचार संहिता उल्लंघन का एक मामला मेरे खिलाफ दर्ज है. समयसीमा के अंदर हाइकोर्ट को मैं जवाब सौंप दूंगा. वहीं, जनार्दन सिंह सीग्रीवाल ने कहा कि प्रभुनाथ सिंह गुमराही मास्टर हैं. 1992 का मामला था. जमीन विवाद में चार सौ लोगों में मेरा भी नाम जोड़ दिया गया. बाद में मुकदमा करनेवाले ने केस वापस ले लिया मुङो इस संबंध में कोई जानकारी ही नहीं थी. पांच बार चुनाव जीता. कभी यह समस्या नहीं आयी. मेरे वकील ने जवाब दे दिया है.