पटना: मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने सभी प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों को दो टूक कहा है कि कानून-व्यवस्था और विकास कार्यो में किसी तरह की लापरवाही बरदाश्त नहीं की जायेगी. मुख्यमंत्री ने डीएम-एसपी को दो महीने में कम-से-कम एक बार ग्रामीण क्षेत्रों में जाकर आम लोगों के साथ सीधा संवाद करने और वहीं रात्रि विश्रम करने का आदेश दिया है, ताकि वे गांवों की समस्याओं से रू-ब-रू हो सकें.
उन्होंने कहा कि केवल जिला मुख्यालय में रह कर काम करने से विकास कार्यो को गति नहीं दी जा सकती. मुख्यमंत्री पद संभालने के बाद श्री मांझी शुक्रवार को पहली बार सभी जिलों के डीएम व एसपी समेत सभी विभागों के प्रधान सचिव व सचिव, जोनल आइजी, रेंज डीआइजी, राज्य पुलिस मुख्यालय के आला अधिकारियों के साथ कानून-व्यवस्था और विकास कार्यो की समीक्षा कर रहे थे. इस मौके पर राज्य के मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह, डीजीपी पीके ठाकुर भी मौजूद थे.
जनप्रतिनिधियों के साथ उचित व्यवहार करें अधिकारी
मुख्यमंत्री सचिवालय के संवाद कक्ष में आयोजित यह बैठक सुबह 11 बजे शुरू हुई थी, जो शाम साढ़े सात बजे तक चली. मुख्यमंत्री खुद बैठक में करीब तीन घंटे तक रहे. उसके बाद मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह की अध्यक्षता में यह बैठक चली. बैठक के बाद मुख्य सचिव ने बताया कि मुख्यमंत्री ने सभी पदाधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे जनप्रतिनिधियों के साथ समुचित व्यवहार करें. मुख्यमंत्री ने कहा कि जनप्रतिनिधियों से मुङो शिकायतें मिली हैं कि उनकी बातों को अधिकारी प्राथमिकता नहीं देते. यहां तक कि टेलीफोन पर भी उपलब्ध नहीं होते हैं.
हर माह बीडीओ, सीओ व थानेदार बैठक करें
मुख्यमंत्री ने सभी बड़े थानों में कम-से-कम दो-दो महिला पदाधिकारियों की प्रतिनियुक्ति का भी आदेश दिया. साथ ही बीडीओ, सीओ और थानेदार को हर महीने एक बार बैठक कर क्षेत्र के विकास कार्यो के साथ कानून-व्यवस्था की स्थिति की भी समीक्षा करने का निर्देश दिया है. उन्होंने कहा कि अनुसूचित जाति व जनजाति के लोगों को न्याय मिलने में बेवजह देरी की जाती है. उन्हें समय पर न्याय मिले, ऐसी व्यवस्था बननी चाहिए.
गृह सचिव का पावर प्वाइंट प्रेजेंटेशन
मुख्यमंत्री ने कानून-व्यवस्था पर गृह विभाग के प्रधान सचिव आमिर सुबहानी का पावर प्वाइंट प्रेजेंटेशन देखा और उन्हें आनेवाले त्योहारों को लेकर अभी से तैयारी कर लेने को कहा. उन्होंने कहा कि सद्भाव को नुकसान पहुंचानेवालों के साथ सख्ती से पेश आएं. साथ ही उन्होंने विधि-व्यवस्था को लेकर दर्ज पुराने मामलों का तेजी से निबटारा करने और एसपी स्तर से ऊपर के अधिकारियों के पास लंबित पर्यवेक्षण के मामलों का तुरंत निबटारा करने का आदेश दिया. उन्होंने जिलों से आये पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारियों की हौसला अफजाई करते हुए कहा कि किसी भी स्थिति में कानून-व्यवस्था में गिरावट नहीं आने दें.
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर आपदा प्रबंधन विभाग, जल संसाधन विभाग, राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम एवं गृह विभाग की गतिविधियों की गहराई से समीक्षा की. भूमिहीनों को वास के लिए जमीन उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री ने सभी डीएम को निर्देश दिया कि वे अपने-अपने जिलों में जमीन की न्यूनतम दर तय करने के लिए गठित कमेटी की बैठक बुला कर उसकी समीक्षा कराएं और कहीं जमीन की कीमत बाजार मूल्य से अधिक हो या फिर कम हो, तो उसे ठीक करें. सूखाग्रस्त जिलों के डीजल अनुदान वितरण और बाढ़गस्त क्षेत्रों में राहत कार्यो तेजी लाने का निर्देश दिया गया है. सामान्य प्रशासन के प्रधान सचिव धर्मेद्र सिंह गंगवार ने जिला और प्रखंड के कार्यालयों में कार्यसंस्कृति विकसित करने के लिए की जा रही कार्रवाइयों की जानकारी दी.
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में भूमि समस्या विकराल रूप ले रही है. गरीब तबके के लोग इससे ज्यादा प्रभावित होते हैं. इसके लिए जरूरी है कि डीएम और एसपी भूमि विवादों को तत्परता से निपटाएं. हथियार के लाइसेंस जारी करने में मिल रही शिकायतों की भी उन्होंने चर्चा की और कहा कि सही लोगों को हथियारों को लाइसेंस नहीं मिल रहा है. उन्होंने इसके लिए समय सीमा निर्धारित करने और जिनके पिता की मृत्यु हो चुकी है या उनके पिता काफी वृद्घ हो चुके हैं, उनकी जगह उनके किसी परिजन को समयसीमा के अंदर लाइसेंस जारी करने का निर्देश दिया.
गरीबों का बैंक खाता खुलवाएं
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री जन-धन योजना एक बेहतर योजना है. राज्य में सभी परिवार के कम-से-कम एक व्यक्ति का बैंक खाता खुलवाने में राज्य के अधिकारी पूरी निष्ठा से काम करें. जब सभी गरीबों का बैंक खाता खुल जायेगा, तो सरकारी योजनाओं का लाभ सीधे उनके खाते में डाला जायेगा. इससे बिचौलियों का प्रभाव समाप्त हो जायेगा. हालांकि, यह योजना पहले से यह चल रही थी. अब केंद्र सरकार ने नयी बोतल में पुरानी शराब परोसने की तैयारी की है.
डीएम-एसपी को दिया टास्क
थानों व प्रखंड कार्यालयों का नियमित निरीक्षण
भूमि विवादों को निबटाने को प्राथमिकता दें
जनप्रतिनिधियों के साथ उचित व्यवहार करें
समयसीमा के अंदर सही लोगों को हथियारों का लाइसेंस मिले