लाहौर/नयी दिल्ली : भारत के कड़े विरोध के बावजूद आज मुंबई हमले का मास्टरमाइंड एवं लश्कर-ए-तैयबा का ऑपरेशन कमांडर जकी उर रहमान लखवी जेल से रिहा हो गया. लखवी को आज पाकिस्तान के रावलपिंडी जेल से रिहा किया गया.उसकी रिहाई से पाकिस्तान के अंदर की आतंकवाद के मुद्दे पर कशमकश भी दुनिया के सामने आ गयी है. भारत व विश्व बिरादरी की यह सामान्य धारणा है कि उसके खिलाफ पाकिस्तान की सरकार ने अदालत में मामले को सही से आगे नहीं बढाया है.
इस मुद्दे पर पाकिस्तानी विधि अधिकारी ने कहा रिहाई के कुछ समय पहले कहा था कि हम लखवी को सलाखों के पीछे ही रखने के लिए कई विकल्पों पर चर्चा कर रहे हैं. इस संदर्भ में फैसला आज किसी भी समय लिया जा सकता है.’’ उन्होंने कहा कि सरकार के लिए 55 वर्षीय लखवी को एक बार फिर ‘मेंटेनेंस ऑफ पब्लिक ऑर्डर (सार्वजनिक व्यवस्था बनाए रखने) के तहत हिरासत में रखने का विकल्प अपनाना मुश्किल है. इसे इस्लामाबाद उच्च न्यायालय और लाहौर उच्च न्यायालय द्वारा दो बार खारिज किया जा चुका है.
गौरतलब है कि लाहौर उच्च न्यायालय ने कल गुरुवार को आतंकी जकीउर रहमान लखवी को लोक व्यवस्था बनाए रखने संबंधी कानून के तहत हिरासत में रखने संबंधी पंजाब सरकार के आदेश को निलंबित कर दिया तथा उसकी तत्काल रिहाई का आदेश दिया था. कोर्ट के इस फैसले के बाद ही लखवी की रिहाई के आसार बन गए थे.
केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने मुम्बई हमलों के मास्टरमाइंड जकीउर रहमान लखवी को रिहा करने के लाहौर हाईकोर्ट के आदेश पर निराशा जताते हुए कहा था कि लखवी को रिहा करने का आदेश निराशाजनक है. उन्होंने कहा था कि भारत तो पाकिस्तान से बातचीत करना चाहता है लेकिन मौजूदा घटनाक्रम दुर्भाग्यपूर्ण और निराशाजनक है.
गौरतलब है कि 26 नवम्बर 2008 को मुम्बई में हुए सिलसिलेवार आतंकवादी हमलों के मुख्य साजिशकर्ता एवं लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादी जकीउर रहमान लखवी को लाहौर की हाईकोर्ट ने जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया है. इससे पहले, मुम्बई हमलों की सुनवाई कर रही एक स्थानीय अदालत भी उसकी रिहाई का आदेश दे चुकी है लेकिन अन्तरराष्ट्रीय दबाव के कारण पाकिस्तानी सरकार ने कानून-व्यवस्था का हवाला देकर उसे हिरासत में रखा था.