नयी दिल्ली : पाकिस्तानी सैनिकों द्वारा पांच भारतीय सैनिकों की हत्या के मुद्दे पर प्रधानमंत्री से बयान देने की भाजपा सदस्यों की मांग पर भारी हंगामे के कारण लोकसभा की कार्यवाही आज शुरु होने के करीब 10 मिनट बाद दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गयी.
आज सुबह कार्यवाही शुरु होने पर अध्यक्ष मीरा कुमार ने सदन को सेशल्स के संसदीय शिष्टमंडल के विशेषकक्ष में मौजूद होने की जानकारी दी. फिर सदन ने दो पूर्व सदस्यों के निधन पर उन्हें श्रद्धांजलि दी.
इसके बाद प्रश्नकाल शुरु होते ही भाजपा सदस्यों ने पाकिस्तानी सैनिकों द्वारा पांच भारतीय सैनिकों की हत्या के मुद्दे को उठाना शुरु किया. इसके साथ ही वाममोर्चा सदस्य पश्चिम बंगाल में महिलाओं पर कथित अत्याचार के बढ़ते मामले को उठाते हुए अध्यक्ष के असान के समीप आ गये. तेदेपा और गैर तेलंगाना क्षेत्र के कुछ कांग्रेस सदस्यों ने एकीकृत आंध्र के विषय पर नारेबाजी शुरु कर दी.
शोरशराबे के बीच अध्यक्ष मीरा कुमार ने लोकसभा में विपक्ष की नेता सुषमा स्वराज को भारतीय सैनिकों की हत्या पर बोलने का मौका दिया.सुषमा ने कहा, कल हमने पांच भारतीय सैनिकों की शहादत पर रक्षा मंत्री से बयान देने की मांग की थी. रक्षा मंत्री का बयान आया. इस बीच, दोपहर में रक्षा मंत्रालय का बयान भी आया. दोनों बयान अलग अलग थे. हालांकि रक्षा मंत्री के बयान के बाद रक्षा मंत्रालय के बयान का स्वरुप ही बदल गया और उसमें से पाकिस्तानी सैनिक से जुड़े अंश को हटा दिया गया.
विपक्ष की नेता ने कहा, यह अत्यंत ही गंभीर मामला है जिसमें रक्षा मंत्री ने पाकिस्तानी सेना को क्लीनचिट देने का प्रयास किया है. रक्षा मंत्री तथ्य स्वीकार करें और देश से माफी मांगे. विपक्ष की नेता ने कहा कि सदन में अभी रक्षा मंत्री नहीं है लेकिन संयोग से प्रधानमंत्री मौजूद है और वह इस बारे में कुछ कहें.
प्रधानमंत्री के प्रतिक्रिया व्यक्त नहीं करने पर भाजपा समेत समूचे राजग के सदस्य आक्रोशित हो गए और शोरशराबा बढ़ता देख अध्यक्ष मीरा कुमार ने सदन की कार्यवाही 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी. दोपहर 12 बजे सदन की बैठक फिर से शुरु होने पर पहले की तरह विभिन्न मुद्दों को लेकर विभिन्न दलों के सदस्यों का हंगामा और नारेबाजी जारी रही.
भाजपा के भी कुछ सदस्य हाथों में क्षेत्रीय भाषा में लिखे पर्चे लिए खड़े थे.इसी नारेबाजी के बीच अध्यक्ष ने आवश्यक दस्तावेज सदन के पटल पर रखवाए और हंगामा थमते नहीं देख करीब 12 बजकर 20 मिनट पर बैठक दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी.
वहीं राज्यसभा में जम्मू कश्मीर में नियंत्रण रेखा के पास भारतीय सैनिकों पर पाकिस्तानी सैनिकों के हमले को लेकर रक्षा मंत्री और सेना के बयानों में विरोधाभास सहित अलग- अलग मुद्दों पर विभिन्न दलों के सदस्यों के हंगामे के कारण राज्यसभा की बैठक एक बार के स्थगन के बाद दोपहर बारह बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई.हंगामें के कारण मानसून सत्र के आज तीसरे दिन भी उच्च सदन में प्रश्नकाल नहीं हो पाया.
सदन की बैठक शुरु होते ही भाजपा सदस्यों ने नियंत्रण रेखा पर पाकिस्तान द्वारा 5 भारतीय सैनिकों की हत्या करने के बारे मेें रक्षा मंत्री ए के एंटनी द्वारा कल संसद के दोनों सदनों में दिए गए बयान और इससे पहले भारतीय सेना की ओर से दिए गए बयान में विरोधाभास का मुद्दा उठाया.
सभापति हामिद अंसारी ने सदस्यों से प्रश्नकाल चलने देने की अपील करते हुए कहा कि वे शून्यकाल में अपने मुद्दे उठा सकते हैं. लेकिन भाजपा सदस्य नहीं माने. तब अंसारी ने पार्टी के वरिष्ठ नेता एम वेंकैया नायडू से अपनी बात रखने को कहा.
नायडू ने कहा ह्यकल रक्षा मंत्री ने संसद में दिए बयान में कहा था कि पाकिस्तानी सैनिकों की वर्दी पहने करीब 20 सशस्त्र आतंकवादियों ने नियंत्रण रेखा के बाहर हमला कर 5 भारतीय सैनिकों को मार डाला. इससे पहले सेना की ओर से जारी बयान में कहा गया था कि हमला नियंत्रण रेखा के समीप हुआ और इसे पाकिस्तानी सेना की सहायता से आतंकवादियों ने अंजाम दिया.
बयानों में विरोधाभास होने का जिक्र करते हुए भाजपा नेता ने कहा रक्षा मंत्री ने देश को आहत किया है. उन्हें देश और संसद से माफी मांगनी चाहिए. उन्होंने एक तरह से पाकिस्तान का पक्ष लिया है.पार्टी के अन्य सदस्यों और सपा सदस्यों ने नायडू की बात का समर्थन किया.