वॉशिंगटन:अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा ने देश को संबोधित करते हुए कहा कि सीरिया पर हमला करना जरूरी है. सीरिया ने सरीन गैस का इस्तेमाल किया है. हमले को लेकर अमेरिका के विदेश मंत्री जॉन कैरी जनेवा जाएंगेऔर वहां संयुक्त राष्ट्र के मसौदे पर सहमति की कोशिश करेंगे. मसौदे में रासायनिक हथियार का निरीक्षण और हथियारों को नष्ट करने की बात है.
ओबामा ने कहा, “मैंने इस बात का इरादा कर लिया है कि अमरीका सीरिया में लक्षित सैन्य हमला करेगा. मगर सीरिया की ज़मीन पर अमरीकी सैनिकों के कदम नहीं पड़ेंगे. एक लक्षित कार्रवाई के ज़रिए हम अपना लक्ष्य हासिल करेंगे. असद को यह संदेश होगा कि भविष्य में कोई और तानाशाह ऐसा न कर पाए.”
ओबामा ने कहा कि अमरीका की राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा है और उन्होंने सीरिया में कार्रवाई के लिए कांग्रेस से समर्थन मांगा है. ओबामा ने कहा, "अगर अमरीका कार्रवाई नहीं करता तो असल में हम व्यापक विनाश के हथियारों के इस्तेमाल के लिए रास्ता खोल रहे हैं. ऐसी दुनिया हमें कुबूल नहीं है."
सीरिया संकट:रूसी प्रस्ताव पर सीरिया सहमत,
सीरिया मंगलवार को रूस के इस प्रस्ताव पर सहमत हुआ कि ‘अमेरिकी आक्रामकता समाप्त करने के लिए’ सीरिया के रासायनिक हथियारों के भंडार को अंतरराष्ट्रीय निगरानी में रखा जाये. इससे कुछ घंटे पहले, राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कहा कि यदि सीरियाई शासन अपने रासायनिक हथियार भंडार का नियंत्रण अंतरराष्ट्रीय समुदाय को सौंप देता है तो वह सीरिया पर संभावित सैन्य हमले की योजना ‘निश्चित रूप से’ टाल देंगे.
सीरिया के विदेश मंत्री वालिद अल मौलेम ने कहा कि उनका देश रूस की इस पहल पर तुरंत सहमत है. उन्होंने कहा कि सीरिया ने अमेरिकी आक्रामकता खत्म करने के लिए ऐसा किया है. विदेश मंत्री ने मास्को में रूसी संसद डय़ूमा के स्पीकर सरजेई नारीशकिन के साथ बैठक के बाद कहा कि सोमवार को रूस के वदेश मंत्री सरजेई लावरोव के साथ कई दौर की बातचीत हुई थी और उन्होंने रासायनिक हथियारों पर पहल सामने रखी. इससे पहले मंगलवार को रूस ने कहा कि वह इस मुद्दे के हल के लिए ‘ठोस योजना’ बनाने को दमिश्क के साथ बातचीत में लगा है. ओबामा ने कहा कि वह संशयपूर्ण लग रहे हैं, पर रूस के इस प्रस्ताव पर गंभीर हैं कि असद शासन के रासायनिक हथियारों के भंडार को अंतरराष्ट्रीय निगरानी में रखा जाये. ओबामा के इस बयान के कुछ घंटे बाद मास्को ने घोषणा की कि वह घातक हथियारों के सुचारु हस्तांतरण के लिए ‘कार्य करने योग्य और ठोस’ योजना तैयार करने के लिए दमिश्क के साथ बातचीत करेगा. रूस के विदेश मंत्री सेरजई लावरोव ने कहा कि हम इस मुद्दे पर ठोस योजना तैयार करने पर काम कर रहे हैं.
अमेरिका की पहल
भारत ने किया समर्थन
सैन्य कार्रवाई प्राथमिकता नहीं
सीनेट में ओबामा का विरोध