कराची : पाकिस्तान में राजनीतिक विश्लेषकों को आशंका है कि देश में राजनीति के लिहाज से हालात अस्थिरता वाले हो सकता हैं जहां अपने गढ़ों में शिकस्त का सामना करने वाले कई राजनीतिक दिग्गज आम चुनावों में धांधली के आरोपों के बीच हाथ मिला सकते हैं. पाकिस्तान के चुनाव में कुछ नतीजे चौंकाने वाले हैं और हार का सामना करने वाले कई राजनीतिक दल मतगणना के तरीके और लंबे विलंब के बाद नतीजों की घोषणा को लेकर आरोप लगा रहे हैं.
पाकिस्तान के निर्वाचन आयोग (ईसीपी) द्वारा अब तक घोषित अनधिकृत परिणामों के अनुसार पूर्व क्रिकेकर इमरान खान की तहरीक – ए – इंसाफ (पीटीआई) ने नेशनल असेंबली में सबसे ज्यादा 119 सीटें हासिल की हैं. वहीं कई बड़े दिग्गज अपने गढ़ों में हार चुके हैं. विश्लेषक उमैर अलवी ने कहा , ‘ अगले कुछ दिन पाकिस्तान की सियासत के लिए महत्वपूर्ण होंगे. पीटीआई के बाद निचले पायदानों पर रहने वाले दल अगर मिलकर नतीजों के खिलाफ विरोध शुरू कर देते हैं तो खान और उनकी पार्टी के लिए बड़ी चुनौती खड़ी कर सकते हैं.’ पीएमएल – एन को पंजाब विधानसभा में सम्मानजनक 122 सीटें मिली हैं और गुरूवार शाम तक नेशनल असेंबली में उसे 68 और सीटों पर जीत मिल चुकी हैं.
उसके बावजूद पार्टी ने चुनाव परिणामों को खारिज कर दिया है. पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के सांसद धांधली के आरोप लगा रहे हैं. इससे पहले पार्टी अध्यक्ष बिलावल भुट्टो अपने मजबूत गढ़ ल्यारी में पीटीआई के एक उम्मीदवार से हार गये. जमीयत उलेमा इस्लाम (मौलाना फजलुर रहमान), खादिम हुसैन शाह नीत तहरीक – ए – लबैक जैसी धार्मिक पार्टियों ने भी वोटों की गिनती में धांधली का आरोप लगाते हुए आंदोलन छेड़ने की चेतावनी दी है. बिलावल ने कहा , ‘ हमारी पार्टी के नेता शुक्रवार को हालात पर चर्चा करेंगे और अगले कदम का ऐलान करेंगे.’