सिमडेगा : जिले का एक मात्र महिला कॉलेज, इंटर महिला महाविद्यालय सरकारी उपेक्षा का दंश झेल रहा है. इसकी स्थापना कुछ शिक्षाविदों द्वारा वर्ष 1984 में की गयी थी. काफी प्रयास के बाद 1995 में स्थापना की अनुमति दी गयी, किंतु इसके बाद भी कॉलेज का कोई कायापलट नहीं हुआ.
सीमित संसाधन एवं एवं विभिन्न समस्याओं के बीच भी कॉलेज में पठन-पाठन सुचारु रूप से जारी है और यहां की छात्राएं अच्छा रिजल्ट कर रही हैं. इस वर्ष इंटर की परीक्षा में 176 छात्राओं ने भाग लिया था, जिसमें 158 छात्राओं ने सफलता हासिल की है. कॉलेज का अपना चार भवन हैं जिसमें 13 कमरे हैं.
कॉलेज सरकारी जमीन पर स्थिति है. लीज के लिए आवेदन दिया हुआ है किंतु इस पर अब तक सुनवाई नहीं हुई है. उक्त सभी भवनों को सांसद मद एवं सम विकास योजना से बनाये गये हैं. शुरुआती दौर में एक भवन एवं चहारदीवारी का निर्माण पार्वती शर्मा द्वारा कराया गया था.
जमीन उपलब्ध नहीं होने के कारण कॉलेज का विकास अवरुद्ध है. हालांकि इसके लिये शासी निकाय के सदस्य प्रयासरत हैं किंतु अब तक सफलता नहीं मिली है. जिले के मात्र एक महिला कॉलेज होने के कारण इस कॉलेज को काफी पूर्व ही अंगीभूत हो जाना चाहिए था.
किंतु यहां के नेताओं के सामूहिक प्रयास नहीं होने के कारण ही कॉलेज का विकास नहीं हो पा रहा है. कॉलेज में 12 शिक्षक-शिक्षिका व आठ शिक्षकेत्तर कर्मचारी कार्यरत हैं, जो बिना वेतन के ही सेवा दे रहे हैं. शिक्षक व शिक्षकेत्तर कर्मचारी कॉलेज के अंगीभूत होने के इंतजार में हैं.
– मो इलियास –