अभी इस सिलसिले में बातचीत चल रही है, लेकिन कॉटेज का मूल्य अभी तक तय नहीं हुआ है. कॉटेज के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि उनके पति स्वर्गीय मदन तामांग ने वर्ष 2006 में कॉटेज के निर्माण का काम शुरू किया था, जो वर्ष 2009 मंे संपन्न हुआ था. कॉटेज तीन मंजिला है और इसमें बड़े बड़े रूम, कीचन, बेड रूम, बाथ रूम आदि बने हुए हैं. कॉटेज के चारो ओर हरियाली है. एक एकड़ जमीन पर कॉटेज का निर्माण किया गया है. उन्होंने आगे कहा कि राज्य सरकार के साथ कॉटेज की बिक्री की बातचीत चल रही है. अभी तक इसका दाम तय नहीं हुआ है. उन्होंने बताया कि उन्होंने कॉटेज का व जमीन मिला कर तीन करोड़ रुपये दाम रखा है. उन्होंने आगे कहा कि उनके पति मदन तामांग ने गांधी रोड में कुल नौ कॉटेज बनाये थे. इनमें से एक कॉटेज में वह खुद रहती हैं.
उल्लेखनीय है कि मदन तामांग हत्याकांड के आरोपियों की सजा की मांग में बीते 14 जुलाई को दार्जिलिंग के चौरास्ता में भारती तामांग ने आमरण अनशन शुरू किया था. 16 जुलाई को उन्होंने आमरण अनशन खत्म किया था. इसके बाद उन्हें अस्पताल में भरती कराया गया था. इस दौरान मुख्यमंत्री के कार्यालय से उनके जल्द स्वस्थ होने की कामना करते हुए एक गुलदस्ता भेजा गया था. भारती तामांग से मिलने आये मुख्यमंत्री के अधिकारी ने तब भारती तामांग को कॉटेज बिक्री का प्रस्ताव दिया था.