सिलीगुड़ी. चुनाव के नाम से ही तृणमूल सरकार भयभीत हो उठती है. इसलिए समय पर चुनाव कराना राज्य सरकार नहीं चाहती. समय पर चुनाव न हो, इसके लिए सरकार आये दिन कोई ना कोई बहाना कर रही है. सिलीगुड़ी महकमा व निगम क्षेत्र की हालत बद से बदतर हो चुकी है. विकास कार्य व नागरिक परिसेवा पूरी तरह ठप है.
लोग विभिन्न समस्याओं व परेशानियों से जूझ रहे हैं, लेकिन सरकार को इससे कोई लेना-देना नहीं है. सभी समस्याओं का समाधान एकमात्र चुनाव से ही संभव है. यह कहना है दाजिर्लिंग जिला के कांग्रेस अध्यक्ष व माटीगाड़ा-नक्सलबाड़ी के विधायक शंकर मालाकार का.
उन्होंने कहा कि तृणमूल महकमा व ग्राम पंचायतों में चुनाव न जीतने के बावजूद जबरन दखल किये हुए है और राजनैतिक साजिश रचते हुए चुनाव नजदीक आने से पहले ही बोर्ड हटाकर हर जगह प्रशासक नियुक्त कर रही है. वजह तृणमूल जानती है कि अभी जो स्थिति है उसमें तृणमूल की हार संभव है. तृणमूल का जनाधार नहीं है. ऐसे में चुनाव की तारीख आगे बढ़ाने में ही उनकी भलाई है.
तृणमूल की इस ओछी राजनीति के विरूद्ध राज्यपाल से शिकायत की जायेगी. मीडिया के एक सवाल पर श्री मालाकार ने कहा कि निर्वाचन आयुक्त के पास किसी तरह की शिकायत लेकर कांग्रेस नहीं जायेगी. कारण निर्वाचन आयुक्त राज्य सरकार के हाथों की कठपुतली मात्र है. उन्होंने कहा कि ममता की तृणमूल सरकार केवल घोषणाओं व शिलान्यासों की सरकार है. मंत्री गौतम देव ने बीते साढ़े तीन सालों में 33 विभिन्न परियोजनाओं की केवल घोषणाएं की व शिलान्यास किया. इनमें आधे दर्जन भी परियोजनाओं का कार्य अब तक पूरा नहीं हुआ. इस दौरान कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जीवन मजूमदार व सुबीन भौमिक ने भी ममता की मां-माटी-मानुष सरकार की आलोचना की.