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सारधा चिटफंड कांड : मित्रा की जमानत के खिलाफ हाइकोर्ट जायेगी सीबीआइ

कोलकाता : सारधा चिटफंड कांड की जांच कर रही सीबीआइ की विशेष अपराध शाखा परिवहन मंत्री मदन मित्रा को मिली जमानत के खिलाफ हाइकोर्ट जा सकती है. सूत्रों के अनुसार सीबीआइ के एक अधिकारी ने कहा कि वे मित्रा की जमानत निरस्त करने के आवेदन को लेकर ऊपरी अदालत में जायेंगे. संभवत: अगले सप्ताह ही […]

कोलकाता : सारधा चिटफंड कांड की जांच कर रही सीबीआइ की विशेष अपराध शाखा परिवहन मंत्री मदन मित्रा को मिली जमानत के खिलाफ हाइकोर्ट जा सकती है. सूत्रों के अनुसार सीबीआइ के एक अधिकारी ने कहा कि वे मित्रा की जमानत निरस्त करने के आवेदन को लेकर ऊपरी अदालत में जायेंगे. संभवत: अगले सप्ताह ही सीबीआइ जमानत के खिलाफ ऊपरी अदालत में पैरवी कर सकती है.
कथित तौर पर परिवहन मंत्री मदन मित्रा की जमानत याचिका की सुनवाई के दौरान सीबीआइ के जांच अधिकारी मौजूद नहीं थे. बताया गया है कि वे किसी मामले को लेकर महानगर से बाहर थे. सूत्रों के अनुसार सीबीआइ के जांच अधिकारी ने कहा है कि सारधा कांड की जांच अगले चरण में पहुंची है और इस समय परिवहन मंत्री को जमानत मिलने पर जांच प्रक्रिया प्रभावित किये जाने की प्रबल आशंका है. ध्यान रहे कि अलीपुर अदालत ने शनिवार को मित्रा को जमानत दे दी.
वह 12 दिसंबर, 2014 को गिरफ्तार हुए थे. इधर सत्तारुढ़ तृणमूल कांग्रेस की ओर से कहा गया है कि मित्रा को जमानत मिलने के बाद पार्टी ‘चिंतामुक्त’ हो गयी है. तृणमूल कांग्रेस के महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा कि ‘हम चिंतामुक्त महसूस कर रहे हैं, क्योंकि मित्रा को सारधा मामले में शनिवार को जमानत मिल गयी, जिसने एक बार फिर हमारे रुख को सही ठहराया है. कि हमारी पार्टी का कोई भी सदस्य इस घोटाले में शामिल नहीं है.’
संधीर को भी जमानत
कोलकाता. सारधा मामले में परिवहन मंत्री मदन मित्रा के साथ ही मामले के एक अन्य आरोपी संधीर अग्रवाल की भी जमानत याचिका अलीपुर जिला व दायरा अदालत ने मंजूर कर ली.
सूत्रों के अनुसार, संधीर अग्रवार को लगभग तीन लाख रुपये के पर्सनल बांड पर अदालत ने जमानत दे दी. जमानत की शर्तों के अनुसार, उन्हें अपना पासपोर्ट सरेंडर करना होगा और अदालत के निर्देश के बगैर राज्य नहीं छोड़ना होगा. ध्यान रहे कि सारधा चिटफंड कांड में आर्थिक संलिप्तता के आरोप में संधीर अग्रवाल को सीबीआइ ने गिरफ्तार किया था.
सारधा मामले में मदन मित्रा की गिरफ्तारी के बाद के घटनाक्रम
सारधा चिटफंड मामले में राज्य के परिवहन मंत्री मदन मित्रा की गिरफ्तारी के बाद तृणमूल खेमे को बड़ा झटका लगा था. गिरफ्तारी के लगभग 324 दिनों बाद मदन मित्रा की जमानत याचिका अदालत ने मंजूर कर ली. उनकी गिरफ्तारी व बाद के हालात पर एक नजर.
12 दिसंबर, 2014
सॉल्टलेक सीजीओ कांप्लेक्स स्थित सीबीआइ कार्यालय में घंटों पूछताछ के बाद सीबीआइ अधिकारियों ने परिवहन मंत्री मदन मित्रा की गिरफ्तारी की पुष्टि कर दी. पूरे राज्य में उनके समर्थकों का विरोध शुरू हो गया. महानगर के चिड़ियामोड़, सिंथि, टॉबिन रोड व दक्षिणेश्वर के इलाकों में पथावरोध.
14 दिसंबर, 2014
मदन मित्रा की गिरफ्तारी के पीछे राजनीतिक षड्यंत्र की बात कह कर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने लगातार आंदोलन का आह्वान किया था. हालांकि धरना-प्रदर्शन कुछ दिनों के बाद समाप्त कर दिया गया.
15 दिसंबर, 2014
मदन मित्रा की गिरफ्तारी के विरोध में तृणमूल सांसदों ने संसद के बाहर काला शॉल दिखा कर अपना विरोध जताया. 16 दिसंबर, 2014
परिवहन मंत्री की गिरफ्तारी के विरोध में अलीपुर अदालत में मित्रा की पेशी के दौरान उनके समर्थकों ने प्रदर्शन किया. इधर, विभिन्न जगहों पर पथावरोध की वजह से यातायात व्यवस्था प्रभावित रही.
24 दिसंबर, 2014
शारीरिक रूप से अस्वस्थ होने के कारण मदन मित्रा को संशोधनागार से एसएसकेएम अस्पताल लाया गया. चिकित्सा के लिए मेडिकल बोर्ड भी गठित हो गया.
15 जनवरी, 2015
परिवहन मंत्री को न्यायायिक हिरासत में भेजने का निर्देश अदालत ने दिया. अलीपुर संशोधनागार में ही सीबीआइ अधिकारियों ने उनसे पूछताछ की अनुमति की मांग की. तृणमूल के आला नेता मुकुल राय को पूछताछ के लिए सीबीआइ ने तलब किया.
13 फरवरी, 2015
मित्रा के सहायक बापी करीम को सीबीआइ ने तलब किया.
24 मार्च, 2015
मदन मित्रा की शारीरिक अवस्था की रिपोर्ट हाइकोर्ट ने मांगी.
10 अप्रैल, 2015
मित्रा की शारीरिक हालत गंभीर होने का दावा कर उनके पक्ष के अधिवक्ता ने हाइकोर्ट में जमानत याचिका दायर की, लेकिन याचिका पर सुनवाई नहीं हुई.
8 अक्तूबर, 2015
सारधा चिटफंड कांड के गवाहों को धमकाने का आरोप. आरोप मदन मित्रा पर लगाये गये थे.
20 अक्तूबर, 2015
एसएसकेएम अस्पताल के वुडबर्न वार्ड से ही दुर्गापूजा के महाअष्टमी की पुष्पांजलि मित्रा ने दी.
31 अक्तूबर, 2015
अंतत: लगभग 324 दिनों के बाद अलीपुर अदालत ने दो लाख रुपये पर्सनल बांड व कुछ शर्तों पर मदन मित्रा की जमानत याचिका मंजूर कर ली.

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