सूत्रों के अनुसार सरकारी पक्ष के अधिवक्ता की ओर से ठोस पैरवी के अभाव में ही हाथकाटा दिलीप जमानत पाने में सफल रहा. बताया जा रहा है कि जमानत की शर्तो के तहत दिलीप महानगर छोड़ कर दूसरे शहर में नहीं जा सकता है. साथ ही प्रति सप्ताह उसे मामले के जांच अधिकारी (इंवेस्टिगेशन ऑफिसर) के समक्ष हाजिरी देनी होगी.
सूत्रों के अनुसार हाथकाटा दिलीप गिरीश पार्क कांड के मुख्य आरोपी माने जाने वाले गोपाल तिवारी का काफी करीबी बताया गया है. हालांकि गिरीश पार्क कांड में उसे आरोपी नहीं बनाया गया है लेकिन उसकी गिरफ्तारी के बाद ही गोपाल को गिरफ्तार कर पाने में पुलिस को सफलता मिली थी. उसके बाद ही हाथकाटा दिलीप की जमानत याचिका मंजूर कर लिये जाने से कई सवाल उठ रहे हैं.