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छात्रों के दो गुटों में जमकर मारपीट, एक दर्जन घायल, स्कूल प्रबंधन की उदासीनता से अभिभावकों में रोष
दुर्गापुर : शहर के बेनाचिती इलाका स्थित भारतीय हिन्दी हाईस्कूल में छात्रों के दो गुटो के आपसी टकराव की घटना से अफरा-तफरी का माहौल देखा गया. मारपीट में दोनों पक्षों के तकरीबन एक दर्जन बच्चे चोटिल हो गये. चोटिल हुये बच्चों को स्कूल प्रबंधन ने आनन-फानन में अस्पताल पहुंचाया. घटना की सूचना पाकर मौके पर […]
दुर्गापुर : शहर के बेनाचिती इलाका स्थित भारतीय हिन्दी हाईस्कूल में छात्रों के दो गुटो के आपसी टकराव की घटना से अफरा-तफरी का माहौल देखा गया. मारपीट में दोनों पक्षों के तकरीबन एक दर्जन बच्चे चोटिल हो गये. चोटिल हुये बच्चों को स्कूल प्रबंधन ने आनन-फानन में अस्पताल पहुंचाया. घटना की सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने मामले को शांत कराते हुये स्कूल प्रबंधन को स्कूली बच्चों को कंट्रोल मे रखने की बात कही. इस घटना को लेकर स्थानीय लोगो के साथ अभिभावकों मे रोष व्याप्त है.
मामले को लेकर स्कूल प्रबंधन पूरी तरह से उदासीन दिख रहा है. इस मामले मे स्कूल प्रबंधन कमेटी के सचिव सहित कोई भी शिक्षक कुछ भी कहने को तैयार नहीं दिख रहा है. सभी इस मामले को लीपापोती करने मे लगे हैं. जानकारी के अनुसार कक्षा आठ और इलेवेन के बच्चों के बीच किसी बात को लेकर मंगलवार को कहासुनी के बाद मारपीट हुयी थी. इसके बाद मार खाये हुये लड़के खार खाये हुये थे. बुधवार को टिफिन के ठीक पहले दोनों पक्षों के लड़के एक बार फिर आपस में भिड़ गये.
भिड़ंत में काफी संख्या में बाहरी लड़के भी शामिल हो गये. मौके पर उपस्थित लोगों के अनुसार स्कूल में प्रवेश किये हुये लड़कों ने हाथों मे लाठी डंडे ले रखे थे. मारपीट में अजित साव,नितीश साव, अनिल सिंह, प्रकाश महतो, विशाल आनंद बुरी तरह से घायल हुये हैं. उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया. घटना मे घायल आकाश महतो, मुकेश महतो, राहुल बेसरा, रौनक परवीन को मरहम पट्टी के बाद छोड़ दिया गया. बताया जाता है की इस मारपीट मे शामिल बच्चे बाजार और डांगाल के रहने वाले हैं. घटना के बाबत स्कूल प्रबंधन के सचिव कल्याण गुप्ता और टीआई अजय प्रसाद से पूछने पर उन्होंने शहर से बाहर होने की बात कही.
घटना को लेकर अभिभावकों मे रोष है. रोष जताते हुए अभिभावकों ने कहा की बीते काफी समय से स्कूल में पढ़ाई-लिखाई का माहौल समाप्त हो चुका है. उन्होंने आरोप लगाते हुये कहा कि स्कूल के कई शिक्षक समय पर स्कूल नहीं आते हैं, छुट्टी होने से पहले चले जाते हैं. स्कूल में रहने पर भी कक्षा में जाने में लापरवाही करते हैं. उनका कहना है कि इस बाबत स्कूल प्रबंधन को जानकारी देने के बाद भी कुछ नहीं हो पाया है. अभिभावकों और स्कूल से जुड़े लोगो का मानना है की स्थायी प्रधानाध्यापक नहीं होने के कारण स्कूल मे आए दिन कोई न कोई घटना हो रही है. स्कूल की ज़िम्मेदारी टीआई से नहीं संभल रही है.
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