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तृणमूल को तोड़ने की साजिश कर रहा विपक्ष: ममता

सिलीगुड़ी: त्रिपुरा में माकपा के मुख्यमंत्री माणिक सरकार की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात को लेकर भाजपा-माकपा के भरत मिलाप पर मंगलवार को बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भड़क उठीं. उन्होंने भाजपा व माकपा पर अंदर ही अंदर एक होने एवं लोगों के साथ ओछी राजनीति करने की खूब आलोचना की. वह मंगलवार को सिलीगुड़ी […]

सिलीगुड़ी: त्रिपुरा में माकपा के मुख्यमंत्री माणिक सरकार की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात को लेकर भाजपा-माकपा के भरत मिलाप पर मंगलवार को बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भड़क उठीं. उन्होंने भाजपा व माकपा पर अंदर ही अंदर एक होने एवं लोगों के साथ ओछी राजनीति करने की खूब आलोचना की.

वह मंगलवार को सिलीगुड़ी के बाघाजतीन पार्क से विरोधी पार्टियों भाजपा, माकपा व कांग्रेस तीनों को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि बंगाल में यह पार्टियां एक होकर तृणमूलक को तोड़ने की साजिश रच रही हैं, लेकिन तृणमूल ऐसा होने नहीं देगी. इस दौरान उन्होंने भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह का नाम लिये बगैर कटाक्ष करते हुए कहा कि लोग कहते हैं बंगाल से तृणमूल को उखाड़ फेंकने का समय आ गया है.

उन्होंने विरोधियों को चेतावनी देते हुए कहा कि तृणमूल कांग्रेस किसी व्यक्ति विशेष की पार्टी नहीं है बल्कि मां-माटी-मानुष की पार्टी व सरकार है. इस पार्टी को तोड़ना या उखाड़ फेंकना इतना आसान नहीं है. साथ ही दीदी केंद्र की भाजपा सरकार पर गरजते हुए कहा कि मोदी सरकार वादाखिलाफी सरकार है. यह सरकार झूठ के पुलिंदे पर टिकी है. चुनाव से पहले मोदी सरकार ने भारतीय जनता से अच्छे दिन एवं विकास का वादा किया था, लेकिन इस सरकार के छह महीने बीत जाने के बावजूद भी कुछ भी अच्छा नहीं हुआ. उन्होंने मोदी परी कटाक्ष करते हुए कहा कि भारत की अधिकांश जनता भूखे पेट सोती है.

यहां की जनता को भाषण नहीं राशन चाहिए. दीदी ने डीजल, पेट्रोल की कीमतों में हो रही गिरावट पर कहा कि यह गिरावट मोदी सरकार ने नहीं बल्कि अंतरराष्ट्रीय मार्केट में ही तेलों के दाम कम होने से हो रही है और इसे मोदी सरकार लोगों को अपनी उपलब्धि बता कर खूद पीठ थपथपा रही है. साथ ही उन्होंने मोदी के स्वच्छ भारत अभियान पर भी व्यंग कसीं. उन्होंने मोदी को नसीहत देते हुए कहा कि पहले घर की सफाई करें फिर बाहर की. उन्होंने यह कटाक्ष भाजपा के अंदरुणी कलह एवं पार्टी में शामिल असामाजिक तत्वों को लेकर की. उन्होंने कहा कि तृणमूल गरीबों की पार्टी है. हर इंसान की पार्टी है. तृणमूल में किसी तरह की कोई लॉबी बाजी नहीं है. तृणमूल केवल विकास चाहती है, लेकिन केंद्र बंगाल के साथ बदले की राजनीति कर रहा है. राज्य सरकार को केंद्र से मिलने वाले फंड पर अड़चनें लगा कर विकास में रोड़ा डाल रही है. इतना ही नहीं राज्य के फंड को भी केंद्र छीन ले रहा है.

मनरेगा के सौ दिन गारंटी योजना पर भी बाधा डाल रहा है. केंद्र सरकार मजदूरों को उनका हक नहीं दे रही है, लेकिन तृणमूल सरकार मजदूरों को उनका अधिकार दे रही है. चाय श्रमिकों को अधिकार दिलाने के लिए भी तृणमूल वचनवद्ध है. बंद पड़े चाय बागानों के श्रमिकों को राज्य सरकार भत्ता दे रही है. उन्होंने चाय श्रमिकों से अपने हक की लड़ाई के लिए हिंसक न होने की अपील की. उन्होंने कहा कि किसी मुद्दे को लेकर मैनेजमेंट के साथ मतभेद होना लाजमी है, लेकिन अपनी मांगों के लिए मालिक या अधिकारियों को पीट पीट कर मार देना कतई उचित नहीं है.

उन्होंने कहा कि विरोधियों को बीते तीन साल में बंगाल में हुए विकास कार्य दिखाई नहीं दे रहे हैं. दुष्प्रचार कर भोलीभाली जनता को बरगला रहे हैं. ममता ने कहा कि पूरे उत्तर बंगाल में मात्र साढ़े तीन साल में जो विकास हुआ है, बीते 63 सालों में कभी नहीं हुआ. उन्होंने कहा कि उत्तर बंगाल के केवल दार्जिलिंग पार्वत्य इलाका ही नहीं बल्कि तराई-डुवार्स व कूचबिहार जिले को भी पर्यटन हब बनाने की सरकार की योजना है. पूरे बंगाल में 42 सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल होने जा रहा है. केंद्र से आर्थिक सहयोग के बगैर भी राज्य में तृणमूल सरकार ने स्वास्थ्य, शिक्षा, ग्रामीण, खेती, सड़क, पर्यटन, उद्योग, आइटी समेत हर क्षेत्र में जो विकास किया है वह बंगाल की जनता के सामने है. ममता ने कहा कि लोगों की बहुत पुरानी मांग के तहत जलपाईगुड़ी जिले से अलीपुरद्वार को अलग कर नये जिले का गठन इसी सरकार ने की है. कूचबिहार में ठाकुर पंचानन वर्मा कॉलेज, कई हिंदी स्कूल एवं कॉलेज का निर्माण भी इसी सरकार ने किय है.

राजवंशी, हिंदी, नेपाली भाषाओं को इसी सरकार के शासनकाल में स्वीकृति मिली है. अपनी भाषा, संस्कृति के विकास व आजादी को लेकर एक समय जो पहाड़ अशांत था, जो अपनों से दुत्कारे जाने पर रो रहा था,वही पहाड़ आज शांत है और खिलखिला रहा है, लेकिन विरोधी पार्टियां पहाड़ पर शांति नहीं चाहते. एक बार फिर अलग राज्य की मांग को उठा कर पहाड़ पर अशांति फैलाना चाहते हैं. उन्होंने बंगाल की जनता से एक होने की अपील की. उन्होंने कहा कि अगर आप लोग एक होंगे तो तृणमूल कांग्रेस भी एक होगी.

साथ ही तृणमूल कांग्रेस व आप की दीदी और अधिक मजबूत होगी.ममता से पहले उत्तर बंगाल विकास मंत्री व तृणमूलक कांग्रेस के उत्तर बंगाल कोर कमेटी के चेयरमैन गौतम देव, सिलीगुड़ी के तृणमूल विधायक डॉ रुद्रनाथ भट्टाचार्य समेत अन्य वरिष्ठ नेताओं ने भी सभा को संबोधित किया. मालूम हो कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी तीन दिवसीय उत्तर बंगाल दौरे पर मंगलवार को सिलीगुड़ी आयी हैं. स्थानीय बाघाजतीन पार्क में तीन जिलों दार्जिलिंग, जलपाईगुड़ी व अलीपुरद्वार के संयुक्त कर्मी सभा को संबोधित कर रही थीं. इस दौरान तीनों जिलों से भारी तादाद में तृणमूल कांग्रेस के नेता, कार्यकर्ता व समर्थक शामिल हुए. ममता आज ही जलपाईगुड़ी के लिए सिलीगुड़ी से रवाना हो गयीं. कल वह जलपाईगुड़ी में नवनिर्मित जलपाईगुड़ी स्पोर्ट्स विलेज का उद्घाटन करेंगी.

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