कोलकाता: टैक्सी चालकों की बुधवार से कानूनी लड़ाई शुरू होगी. आंदोलन के दौरान गिरफ्तार 22 टैक्सी चालकों को जमानत देने के अदालत के फैसले के खिलाफ परिवहन विभाग ने सिटी सेशन अदालत में अपील की है.
इस अपील की बुधवार से सुनवाई शुरू होगी. कोलकाता टैक्सी ऑपरेटर्स यूनियन (एटक) के महासचिव नवल किशोर श्रीवास्तव ने यह जानकारी दी. उन्होंने कहा कि अदालत के फैसले पर निर्भर करेगा कि टैक्सी संगठनों के आंदोलन की रूपरेखा क्या होगी. श्री श्रीवास्तव ने बताया कि टैक्सी चालक लोकतांत्रिक ढंग से आंदोलन कर रहे थे. वे लोग बदमाश नहीं हैं, लेकिन राज्य सरकार ने टैक्सी आंदोलन को लेकर अड़ियल रुख अपना लिया है. कोई भी सरकार तानाशाही रवैये से नहीं चल सकती है.
उन्होंने कहा कि परिवहन विभाग की नीति व रवैये के खिलाफ संगठन की ओर से परिवहन मंत्री मदन मित्र को ज्ञापन भी दिया गया है. इस ज्ञापन में पुलिस जुल्म बंद करने, टैक्सी चालकों के गणतांत्रिक अधिकार को वापस करने तथा नो रिफ्यूजल फाइन कम करने जैसे 11 मांगें की गयी हैं. उन्होंने कहा कि टैक्सी चालकों पर तीन हजार रुपये फाइन करना पूरी तरह से अमानवीय है. टैक्सी चालकों के प्रति सरकार का रवैया प्रतिशोध लेनेवाला है.
उन्होंने कहा कि सोमवार को मध्यमग्राम के टैक्सी चालक सुजय माल की समाज विरोधियों ने हत्या कर दी. यह प्रमाण है कि टैक्सी चालकों के प्रति सरकार के नकारात्मक रवैये का क्या प्रभाव पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि उक्त टैक्सी चालक शराब पीने का विरोध कर रहा था, उसके लिए उसे मौत मिली. उन्होंने कहा कि इसी सप्ताह एटक का एक प्रतिनिधिमंडल मृत टैक्सी चालक के परिवार के सदस्यों से मुलाकात करेगा तथा जरूरत होने पर आर्थिक मदद भी दी जायेगी. उन्होंने कहा कि मृत टैक्सी चालक के परिवार को न्याय मिलनी चाहिए तथा राज्य सरकार मुआवजा भी दे.