कोलकाता: अपने विरोधियों को जान से मारने व महिलाओं के साथ दुष्कर्म करने के लिए समर्थकों को छोड़ देनेवाला बयान देकर सुर्खियों में आये तृणमूल सांसद तापस पाल की हालत में थोड़ा सुधार आया है.
बयान के बाद मचे बवाल के बीच तृणमूल सुप्रीमो ममता बनर्जी ने उन्हें संसद के बजट सत्र में भाग लेने से मना किया था. उसके बाद ही अचानक तापस पाल रविवार रात को रक्तचाप में इजाफे की शिकायत लेकर एक प्राइवेट नर्सिग होम में भरती हो गये थे. महानगर के बेलव्यू क्लिनिक के एक अधिकारी ने दावा किया कि तापस पाल की हालत में सुधार हुआ है और उन्हें पूरी तरह आराम करने का परामर्श दिया गया है. पीठ का पुरानी दर्द के शिकार श्री पाल का कहना था कि उन्हें तेज बुखार भी हुआ है.
बेलव्यू क्लिनिक के सीइओ प्रदीप टंडन ने बताया कि उनकी हालत अच्छी है. उनकी हालत में थोड़ा सुधार हुआ है. रक्तचाप नियंत्रण में है और बुखार भी नहीं है. अभी उनके कुछ और जांच बाकी हैं. श्री टंडन ने बताया कि उनकी पीठ का दर्द पहले जैसा ही है. उन्हें हलका आहार दिया जा रहा है और उन्हें बिस्तर पर पूरी तरह आराम करने का परामर्श दिया गया है. तापस पाल के अस्पताल में भरती होने का भी राजनीतिक हलकों में खूब मजाक उड़ाया जा रहा है. जानकारों का कहना है कि विवाद से बचने के लिए वह अस्पताल में भरती हुए हैं.