जलपाईगुड़ी: चुनाव में सुरक्षा सुनिश्चित करने के उद्देश्य से जलपाईगुड़ी पुलिस व प्रशासन ने बीएसएफ व एसएसबी के साथ बैठक की. इसमें सुरक्षा संबंधी विभिन्न पहलुओं पर चर्चा की गयी. जिलाधिकारी पृथा सरकार ने कहा कि असम, भूटान व बांग्लादेश सीमा क्षेत्र में निगरानी सख्त कर दी गयी है.
अप्रिय घटनाओं की रोकथाम के लिए चिह्न्ति असामाजिक तत्वों को हिरासत में लेने का काम जिला पुलिस प्रशासन ने शुरू कर दिया है. 26 दिसंबर को जलपाईगुड़ी शहर के पहाड़पुर में बम विस्फोट के बाद जलपाईगुड़ी जिले को संवेदनशील क्षेत्र के तौर पर चिह्न्ति किया गया है. टॉम व नीलांबर जैसे उग्रवादी नेताओं के विस्फोट मामले में जुड़े रहने के आरोप में गिरफ्तार किये जाने के बाद चुनाव में सुरक्षा को लेकर पुलिस प्रशासन सख्ती बरत रहा है.
खुफिया विभाग के सूत्रों के मुताबिक, केएलओ द्वारा प्रशिक्षण प्राप्त कुछ युवक भूटान व असम में छिपे हुए हैं. उत्तर बंगाल पुलिस के आइजी जावेद शमीम ने कहा है कि चुनाव के मद्देनजर किसी प्रकार का जोखिम उठाना सही नहीं होगा, इसलिए असम व भूटान सीमावर्ती क्षेत्रों में सुरक्षा के खास इंतजाम किये गये हैं.
अप्रिय घटना की रोकथाम के लिए बीएसएफ व एसएसबी ने भी सकारात्मक आश्वासन दिया है. असम व भूटान सीमावर्ती क्षेत्रों से घुसपैठ रोकने के लिए पुलिस व एसएसबी ने संयुक्त रूप से पहरेदारी शुरू कर दी है. उल्लेखनीय है कि सात अपैल को असम में पहले चरण के चुनाव के लिए मतदान होगा. बांग्लादेश सीमावर्ती इलाकों में भी गश्त बढ़ा दी गयी है. जिलाधिकारी पृथा सरकार ने कहा है कि चुनाव के लिए हाल ही में 50 कंपनी केंद्रीय बल मुहैया कराने का आश्वासन मिला है. अप्रैल के पहले सप्ताह में ही सैन्य बल जिले में पहुंच जायेगी.