बाढ़ व बरसात के बाद मच्छर जनित रोगों का प्रकोप बढ़ने के बाद भी जिले में नियमित फॉगिंग नहीं करायी जा रही है. नगर परिषद में एक लाख की आबादी के बीच एक मशीन दी गयी है. उससे अब तक महज तीन बार ही छिड़काव कराया गया है. ऐसे में बड़ा सवाल यह कि मच्छरों के डंक से जिले के लोगों को कैसे बचाया जा सकता है.
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मच्छरों को मारने में पिछड़ा सािहबगंज स्वास्थ्य. जिले में बढ़ रहा मलेरिया व डेंगू का प्रकोप
बाढ़ व बरसात के बाद मच्छर जनित रोगों का प्रकोप बढ़ने के बाद भी जिले में नियमित फॉगिंग नहीं करायी जा रही है. नगर परिषद में एक लाख की आबादी के बीच एक मशीन दी गयी है. उससे अब तक महज तीन बार ही छिड़काव कराया गया है. ऐसे में बड़ा सवाल यह कि मच्छरों […]
साहिबगंज : शहर के मिर्जाचौकी में डेंगू व मलेरिया के बढ़े प्रकोप के बाद भी जिला मच्छरों को मारने में पिछड़ रहा है. बाढ़ व बरसात के बाद नगर परिषद के 28 वार्डा में महज तीन बार ही फांगिंग करायी गयी है. नगर परिषद में एक फॉगिंग मशीन के भरोसे लगभग एक लाख आबादी है. फॉगिंग का कार्य नगर परिषद द्वारा कराया जा रहा है. पर जरूरत के अनुसार फॉगिंग मशीन का उपयोग नहीं हो रहा है. जिला को स्वच्छ व सुंदर बनाने का जिला प्रशासन दावा भले ही कर रहा है.
पर मच्छरों के मारने में जिला पिछड़ा हुआ है. नियमित फॉगिंग नहीं कराये जाने के कारण मच्छर जनित रोगों का प्रकोप बढ़ गया है. फाॅगिंग मशीन के प्रभारी शिव हरि ने बताया कि मशीन खराब थी. उसे ठीक करा लिया गया है. ऑपरेटर सुदामा के द्वारा शहर में तीन बार फाॅगिग मशीन से रसायन का छिड़काव कराया गया है. मौसम ठीक होने के बाद फाॅगिग मशीन से फिर छिड़काव कराया जायेगा.
फागिंग करते स्वास्थ्य कर्मी.
अस्पताल प्रबंधन को मशीन के बारे में पता नहीं
जिला मलेरिया विभाग के द्वारा दो वर्ष पूर्व जिला अस्पताल को फाॅगिग मशीन उपलब्ध करायी गयी थी. लेकिन फाॅगिंग मशीन कहां है, किस स्थिति में है. यह अस्पताल प्रबंधन को पता नहीं है. इस बाबत डीएमओ डॉ विजय हांसदा ने बताया कि अस्पताल प्रबंधन से जब फाॅगिग मशीन के बारे में पूछा गया तो फाॅगिंग मशीन कहां है, यह जानकारी नहीं होने की बात कही. मंगलवार को मेरे कर्मचारी जिला अस्पताल जाकर फाॅगिंग मशीन की खोज करेंगे.
डीडीटी का हो रहा छिड़काव
जिले के मंडरो प्रखंड के मिर्जाचौकी में डेंगू के प्रकोप बढ़ने के बाद जिला स्वास्थ्य विभाग के द्वारा दो फाॅगिग मशीन से रसायन का छिड़काव कार्य शुरू कर दिया गया है. इसके अलावा क्षेत्र में डीडीटी का छिड़काव सदस्यों के द्वारा युद्ध स्तर पर कराया जा रहा है. इस बाबत जिला मलेरिया निवारण पदाधिकारी डॉ विजय हांसदा ने बताया कि मलेरिया विभाग के पास तीन फाॅगिंग मशीन थी. इसमें एक मशीन जिला अस्पताल के पास है. अन्य दो मशीन से मिर्जाचौकी में छिड़काव कराया जा रहा है.
क्या कहते हैं मलेरिया सलाहकार
जिले के मलेरिया विभाग के मलेरिया सलाहकार सती बाबू ने कहा कि लोगों के मन में बैठा है कि फाॅगिंग मशीन चलाने से डेंगू पर अंकुश लग सकता है. लेकिन फाॅगिग मशीन से डेंगू पर अंकुश नहीं लगाया जा सकता है. लोगों को डेंगू से बचने के लिए अपने अपने घरों में डीडीटी का छिड़काव कराना होगा. अधिकतर क्षेत्रों में लोग अपने घरों में डीडीटी का छिड़काव नहीं कराकर घर के बाहर छिड़काव कराते हैं, जो गलत है.
क्या कहते हैं सीएस
सिविल सर्जन डॉ अम्बिका प्रसाद मंडल ने कहा कि जिले के मिर्जाचौकी क्षेत्र में डेंगू का प्रकोप बढ़ा है. इस पर मेरी नजर बनी है. विभाग के द्वारा मिर्जाचौकी कैंप कर लोगों का जांच कर रही है. रही बात फाॅगिंग मशीन का तो स्वास्थ्य विभाग सितंबर माह के अंत तक एक फाॅगिंग मशीन खरीदारी कर क्षेत्र में रसायन का छिड़काव करायेगा.
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