अनगड़ा: प्रखंड आजीविका मिशन ग्राम संगठन के कार्यालय परिसर में झारखंड का पहला प्रखंड आजीविका महासंघ का उदघाटन सह सम्मेलन का आयोजन गुरुवार को हुआ. मुख्य अतिथि पूर्व उपमुख्यमंत्री सुदेश कुमार महतो ने कहा कि महिलाएं संगठित होकर ही देश व समाज में बड़ा बदलाव ला सकती हैं. इसकी शुरुआत अनगड़ा से हो गयी है. […]
अनगड़ा: प्रखंड आजीविका मिशन ग्राम संगठन के कार्यालय परिसर में झारखंड का पहला प्रखंड आजीविका महासंघ का उदघाटन सह सम्मेलन का आयोजन गुरुवार को हुआ. मुख्य अतिथि पूर्व उपमुख्यमंत्री सुदेश कुमार महतो ने कहा कि महिलाएं संगठित होकर ही देश व समाज में बड़ा बदलाव ला सकती हैं. इसकी शुरुआत अनगड़ा से हो गयी है.
महिला संगठनों द्वारा सामाजिक समानता, जीने का अधिकार, असहायों को नेतृत्वकर्ता बनाने का कार्य, सामाजिक कुरीतियों के खिलाफ संघर्ष व परिवार के मान-सम्मान को बढ़ाने के लिए महिलाओं द्वारा किया जा रहा आर्थिक सशक्तीकरण सराहनीय है. उन्होंने कहा कि महिला समूह देश व समाज के विकास में अपना बेहतर योगदान दे रही हैं. पंचायत चुनाव में आरक्षण मिलने से महिलाओं का नेतृत्व क्षमता विकसित हुआ है. सुदेश ने महिलाओं से साक्षरता दर बढ़ाने, बीपीएल परिवारों की संख्या में कमी लाने व समाज का नेतृत्वकर्ता बनने का आह्वान किया. उन्होंने कहा कि अनगड़ा की महिलाएं अब दूसरे राज्य की महिलाओं को प्रशिक्षित करेंगी, यह पूरे राज्य के लिए गौरव की बात है.
विधायक रामकुमार पाहन ने कहा कि सुदेश महतो व पूर्व की सरकारों ने महिलाओं के सशक्तीकरण की दिशा में कई कार्य किये हैं. जिप उपाध्यक्ष पार्वती देवी ने कहा कि महिला सशक्तीकरण की प्रेरणा पूरे राज्य को सिल्ली से मिली. इससे पूर्व अभियान गीत द्वारा कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया. संचालन स्वर्णिमा देवी ने किया. मौके पर अनगड़ा प्रमुख अनिता गाड़ी, उपप्रमुख बेबी यासमीन, जेएसपीएलएस के रामराय बानरा, शांति मार्डी, देवाशिष चाकी, सांबाशिवा रेड्डी, अनंत महासंगठन (आंध्रप्रदेश) की अध्यक्ष लक्ष्मी देवी, संगीता देवी, शकुंतला दास, सुरेंद्र महतो, जलनाथ चौधरी, शबनम परवीन, जयवंती तिर्की, राजपति महतो, रौशन मुंडा सहित अन्य मौजूद थे.
अनगड़ा प्रखंड आजीविका महासंघ गठित : कार्यक्रम में अनगड़ा प्रखंड आजीविका महासंघ गठित करने की घोषणा की गयी. अध्यक्ष सुनीता देवी, सचिव सरिता देवी व कोषाध्यक्ष शिरोमनी बांडो बनायी गयी हैं. बताया गया कि 1225 सखी मंडल, 93 ग्राम संगठन व चार संकुल संगठनों के गठन के बाद प्रखंड आजीविका महासंघ का गठन किया गया है. इससे 16,850 परिवार जुड़े हैं. सम्मेलन में 10 लाख 40 हजार रुपये का बजट प्रस्तुत किया गया. सामाजिक बदलाव के लिए शपथ ली गयी. जिसमें लिंग भेद व छुआछूत दूर करना, गरीबी उन्मूलन की दिशा में कार्य करना, सभी को बीमित करना, संस्थागत प्रसव कराना, बच्चों में तीन साल का अंतर रखना व स्वच्छता पर विशेष कार्य करना शामिल है. अंत में लिंग भेद दूर करने के लिए बनाये गये गाने बेटी हूं मैं सहारा बनूंगी…पर महिलाओं ने आकर्षक प्रस्तुति दी.