झारखंड एड्स कंट्रोल सोसाइटी के डॉ देवाशीष चक्रवर्ती ने बताया कि झारखंड में 18 हजार लोग एचआइवी संक्रमित हैं. सेमिनार में कहा गया कि फैक्टरी में काम करने वाले वर्कर, ट्रक ड्राइवर इससे सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं. कामगार खासकर कांट्रैक्ट लेबर इस शहर से उस शहर में काम करते हैं, जिसके चलते उनमें संक्रमण का खतरा ज्यादा रहता है. उनमें जागरूकता की कमी भी होती है.
यह तय किया गया है कि सभी कारखानों में कंपनियों के सहयोग से जागरूकता अभियान चलाया जायेगा. झारखंड एड्स कंट्रोल सोसाइटी के सहायक परियोजना निदेशक डॉ बीएन पोद्दार ने कहा कि सोसाइटी द्वारा लगातार जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है. उन्होंने कहा कि कंपनियों को अपने कामगारों के स्वास्थ्य की जांच समय-समय पर करानी चाहिए, झारखंड एड्स कंट्रोल सोसाइटी के डॉ देवाशीष चक्रवर्ती ने कहा कि 15-49 वर्ष की अायु वर्ग के बीच संक्रमण का खतरा ज्यादा रहता है. कार्यक्रम में टीएमएच जमशेदपुर के डॉ एचके गार्डिन, मेकन के डॉ संतोष मिश्रा ने भी विचार रखे. मौके पर उषा मार्टिन, सीसीएल, सीएमपीडीआइ, टाटा पावर, टाटा स्टील के प्रतिनिधि भी उपस्थित थे.