देसी निवेश. घरेलू बचत को प्रोत्साहित कर रही है सरकारइंट्रो:::घरेलू निवेश को बढ़ावा देने और छोटे निवेशकों को धोखाधड़ी से बचाने के लिहाज से सरकार ने किसान विकास पत्र की दोबारा शुरुआत किया है. यूपीए सरकार ने इसे बंद कर दिया था. वहीं,चालू खाता घाटा को बढ़ाने अहम भूमिका निभानेवाला सोने के आयात पर प्रतिबंध लगाने पर भी सरकार विचार कर रही है. एक-दो दिन में स्वर्ण आयात पर भी प्रतिबंध लग जायेगा. किसान विकास पत्र की पुन: शुरुआत और स्वर्ण आयात को प्रतिबंधित करने के लिए सरकार की ओर से कदम बढ़ाना आर्थिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण माना जा रहा है. इससे अंतत: घरेलू बचत को प्रोत्साहन मिलेगा. एजेंसियां, नयी दिल्लीदेश में बचत को प्रोत्साहित करने के ध्येय से सरकार ने किसान विकास पत्र (केवीपी) को मंगलवार को फिर से पेश किया है. सरकार ने कहा कि यह गरीबों को निवेश का विश्वसनीय विकल्प प्रदान करेगा. इससे देसी निवेशकों को धोखाधड़ी वाली योजनाओं से बचाने में सरकार को मदद मिलेगी. इस मौके पर वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि अर्थव्यवस्था में नरमी के कारण पिछले दो-तीन साल में देश की बचत दर 36.8 प्रतिशत के रिकॉर्ड स्तर से घट कर 30 प्रतिशत से नीचे आ गयी है. इसलिए लोगों को और बचत के लिए प्रोत्साहित करना जरूरी है. उन्होंने कहा कि किसान विकास पत्र से दो उद्देश्य पूरे होंगे. एक तो इससे भोले-भाले गरीब निवेशकों को अपनी बचतों को पोंजी योजनाओं के बजाय विश्वसनीय सरकारी योजना में लगाने में मदद मिलेगी. पोंजी योजनाओं में उनकी मेहनत की गाढ़ी कमाई गायब हो जाया करती है. देश के विकास में सहायक होगी योजना वित्त मंत्री जेटली ने कहा कि वहीं, देश में तुरंत बचत बढ़ाने की जरूरत है. इसके बाद इन बचतों का उपयोग राष्ट्र निर्माण में किया जायेगा. ऐसे बचत पत्र से निवेशकों न सिर्फ ब्याज मिलेगा, बल्कि यह देश के विकास में भी सहायक सिद्ध होगा. किसान विकास पत्र की विशेषताओं के बारे में वित्त मंत्री ने कहा कि पहले चरण में यह एक साधारण प्रकार का ‘धारक बचत प्रमाण पत्र’ होगा, जिस पर धारक का नाम नहीं लिखा जायेगा. सवा आठ साल में पैसा होगा दोगुनाकिसान विकास पत्र 1,000, 5,000, 10,000 और 50,000 रुपये के मूल्य-वर्ग में उपलब्ध होगा, जो 100 महीने (आठ साल चार महीने) में दोगुना हो जायेगा. किसान विकास पत्र में निवेश की कोई उच्चतम सीमा नहीं है. इसे 30 महीने की तय समयसीमा के बाद भुनाया जा सकता है. जेटली ने कहा कि शुरुआत में ये प्रमाणपत्र डाक घरों के जरिये बेचे जायेंगे, लेकिन इसे जल्दी ही निवेशकों के लिए राष्ट्रीयकृत बैंकों की नामित शाखाओं के जरिये निवेश के लिए उपलब्ध कराया जायेगा. हालांकि, बचतकर्ताओं को अपने निवेश पर कोई कर रियायत नहीं मिलेगी.निवेश के लिए सोना-चांदी नहीं, केवीपी उपयुक्त वित्त सचिव राजीव महर्षि ने कहा कि जिनकी पहुंच बचत के अन्य जरियों तक नहीं है, उनके लिए बचत के आसान जरिये की जरूरत महसूस की गयी. इसलिए विकल्प के अभाव में आपको या तो पैसा उनके पास रखना पड़ता है या फिर सोना-चांदी खरीदा जाता है.बचत का लोकप्रिय साधनसंचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि केवीपी छोटी बचत का लोकप्रिय जरिया था. यह देश के लोगों के साथ भावनात्मक रूप से जुड़ा था. उन्होंने कहा कि करीब 100 साल तक डाक विभाग छोटी बचत योजनाओं से जुड़ा रहा है. भारतीय डाक के पास इस समय करीब 30.8 लाख खाताधारक हैं. उन्होंने कहा कि डाक विभाग भारत सरकार की सात छोटी बचत योजनाओं को चला रहा है, जिनमें लोगों का करीब छह लाख करोड़ रुपये जमा है. यूपीए ने बंद कर दी थी योजनाकिसान विकास पत्र 2011 में बंद कर दिया गया था. यह योजना निवेशकों के बीच बहुत लोकप्रिय थी. 1988 में इसे पेश किये जाने के बाद देश की सभी राष्ट्रीय बचत योजनाओं के तहत कुल संग्रहीत राशि में किसान विकास पत्र का हिस्सा 9-29 प्रतिशत के दायरे में रहा था. वित्त वर्ष 2010-11 में इस योजना के तहत कुुल संग्रह 21,631.16 करोड़ रुपये रहा, जो उस साल राष्ट्रीय बचत योजनाओं के तहत सकल संग्रहीत धन का नौ प्रतिशत था.बॉक्स आइटममुंबई-अहमदाबाद में बनेंगे फूड बैंकनयी दिल्ली. सैम पित्रोदा की अगुवाई वाले भारतीय फूडबैंकिंग नेटवर्क ने गरीबों को खाद्य पदार्थ उपलब्ध कराने के लिए इस वर्ष अहमदाबाद और मुंबई में दो फूड बैंक स्थापित करने की योजना बनायी है. फूड बैंक की स्थापना बड़ी विनिर्माता कंपनियों द्वारा अनुदान के तौर पर इस्तेमाल की अवधि समाप्ति के करीब पहुंचने वाले खाद्य उत्पादों के भंडारण के लिए किया जाना है. इसके खाद्य उत्पाद भूख को समाप्त करने के लिए काम करने वाले संगठनों में वितरित किया जाता है. भारतीय खाद्य सुरक्षा फाउंडेशन की शाखा भारतीय खाद्य बैंकिंग नेटवर्क सरकार, निजी क्षेत्र और गैर-सरकारी संगठनों की साझेदारी में खाद्य सुरक्षा के क्षेत्र में कार्य कर रहा है. मौजूदा समय में इस नेटवर्क ने दिल्ली, गुड़गांव, नोएडा, बेंगलुरु, कोलकाता और जयपुर में छह खाद्य बैंकों की स्थापना की है. कारगिल इंडिया के अध्यक्ष सिराज चौधरी ने कहा कि हम अभी भी उभर रहे हैं. कई निगमित कंपनियों ने रुचि दिखायी है. हम इसे देश भर में बढ़ाना चाहते हैं. इस वर्ष के अंत तक दो और खाद्य बैंक होने की उम्मीद है. सिराज चौधरी ने कहा कि ये खाद्य बैंक मुंबई और अहमदाबाद में स्थापित किये जायेंगे. उन्होंने कहा कि केल्लॉग्स जैसी कंपनियां इस पहल का हिस्सा होने को बेताब हैं. सोना आयात नियंत्रण पर घोषणा जल्दनयी दिल्ली. सोने के आयात में फिर तेजी को देखते हुए सरकार जल्दी ही इस पर कुछ और नियंत्रण लगाने की तैयारी में है, ताकि चालू खाते का घाटा (कैड) हाथ से बाहर न निकले. एक सूत्र ने कहा कि वित्त मंत्रालय कुछ चीजों पर काम कर रहा है और कुछ घोषणाएं (प्रतिबंध संबंधी) दो-एक दिन में की जा सकती हैं. सोने का अयात अक्तूबर में लगभग चार गुना होकर 4.17 अरब डॉलर तक पहुंच गया, जो पिछले साल के इसी महीने 1.09 अरब डॉलर था. मात्रा के लिहाज से सोने का आयात अक्तूबर में बढ़ कर 150 टन रहा, जो पिछले साल के इसी महीने में 24 टन था. निर्यात की तुलना में आयात बढ़ने से देश का व्यापार घाटा बढ़ कर 13.35 अरब डॉलर हो गया, जो अक्तूबर 2013 में 10.59 अरब डॉलर था. पिछले सप्ताह सरकार ने सोने के बढ़ते आयात पर नियंत्रण बढ़ाने के तरीके पर चर्चा के लिए बैठक की थी.
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किसान विकास पत्र दोबारा शुरू
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