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तीन मिनट लेट पहुंचे बच्चों को डी-नोबिली ने लौटाया
कतरास. मात्र तीन मिनट देर से पहुंचे कई बच्चों को डी-नोबिली स्कूल कोड़ाडीह प्रबंधन ने प्रवेश करने से रोक दिया. अभिभावकों ने स्कूल प्रबंधन से कहा कि बच्चे प्रतिदिन समय से आते हैं, लेकिन गाड़ी खराब होने के कारण उन्हें मात्र तीन मिनट देर हुई है. ऐसे में बच्चों को प्रवेश से रोकना उचित नहीं […]
कतरास. मात्र तीन मिनट देर से पहुंचे कई बच्चों को डी-नोबिली स्कूल कोड़ाडीह प्रबंधन ने प्रवेश करने से रोक दिया. अभिभावकों ने स्कूल प्रबंधन से कहा कि बच्चे प्रतिदिन समय से आते हैं, लेकिन गाड़ी खराब होने के कारण उन्हें मात्र तीन मिनट देर हुई है. ऐसे में बच्चों को प्रवेश से रोकना उचित नहीं है. इस पर प्रबंधन के प्रतिनिधि ने अभिभावकों से कहा कि यह अनुशासन का मामला है. आखिरकार अभिभावकों को वापस लौटना पड़ा.
क्या है मामला : कतरास बाजार एलआइसी के बगल में रहने वाले जन्मेजय दुबे गुरुवार को अपने तीन बच्चे, जिसमें कक्षा आठ की मनीषा प्रिया, कक्षा सात के प्रियांशु पराशर तथा वर्ग तीन की प्राची प्रिया को लेकर अपनी गाड़ी से डी-नोबिली स्कूल कोड़ाडीह जा रहे थे. रास्ते में उनकी गाड़ी खराब हो गयी. इसके कारण विद्यालय पहुंचने में मात्र तीन मिनट यानी 8.03 मिनट पर पहुंचे. विद्यालय के गार्ड ने ब्च्चों को स्कूल में प्रवेश करने से रोक दिया. लेट होने वाले में दो, तीन अन्य अभिभावक भी थे. उनके साथ गये बच्चों को भी लौटा दिया गया. श्री दुबे के अनुसार उनके बच्चे नियमित स्कूल जाते हैं. ऐसे में उनके बच्चे समेत अन्य बच्चों को विद्यालय में प्रवेश से रोकना शिक्षा अधिकार अधिनियम का हनन है.
जिला एवं सत्र न्यायाधीश, उपायुक्त तथा डीएसई समेत कई से की शिकायत : श्री दुबे तथा एक अन्य अभिभावक राजीव रंजन घोष ने उक्त मामले की सूचना पत्र लिख कर रजिस्टर्ड पोस्ट से जिला एवं सत्र न्यायाधीश, धनबाद, डीएसई व उपायुक्त धनबाद को भेज दिया है. श्री दुबे के अनुसार सरकार के शिक्षा अधिकार नियम के साथ कोई खिलवाड़ नहीं कर सकता.
अनुशासन के कारण बंद किया गया गेट, मामले को देखेंगे : विद्यालय की प्राचार्य तनुश्री बनर्जी ने कहा कि उन्हें इसके बारे में पता चला है. अनुशासन को बरकरार रखने के लिए उन्होंने आठ बजे गेट बंद करने को कहा है. लेकिन वे फिर भी मामले को देखेंगी. साथ ही, उन्होंने यह भी कहा कि अगर अनुशासन से समझौता किया गया तो विद्यालय कैसे चलेगा.
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