इसी के साथ उन्होंने लिखा है कि मनेरगा के कार्य में भी मुखिया पति सह मनरेगा (मिश्रा ट्रेडर) द्वारा शेड निर्माण की सामग्री(ईंट, बालू आदि) की रकम को लेकर भी लाभुक को गुमराह किया जा रहा है. पंचायत का विकास कार्य मुखिया पति सत्यजित मिश्रा द्वारा किया जाता है, इसकी जानकारी मुखिया तक को नहीं है.
आवेदन की प्रतिलिपि चास प्रखंड प्रमुख तथा बीडीओ को भी दी गयी है. मुखिया पति सत्यजीत मिश्रा ने कहा कि टैंकर की खरीदारी तीन कोटेशन लेने के बाद की गयी है. जहां तक मनरेगा के कार्यों की बात है तो ये कार्य मेट तथा रोजगार सेवक द्वारा संचालित होते हैं. मैं तो सिर्फ भेंडर हूं. वे चाहें तो भेंडर बदल लें.