रांची: राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद को चारा घोटाले के मामले में दोषी करार दिये जाने के बाद होटवार जेल भेज दिया गया है. जेल जाने के बाद भी पार्टी की राजनीति लालू प्रसाद पर ही केंद्रित है. राजद के दिग्गज नेता रविवार को पार्टी सुप्रीमो लालू प्रसाद के साथ रांची आये थे. पिछले तीन दिन से रांची में ही डेरा जमाये हुए हैं. राजद की राजनीति बिहार से रांची शिफ्ट हो गयी है. राजद की राजनीति यहीं से संचालित हो रही है. लालू प्रसाद ही राजद की राजनीति के केंद्र बिंदु रहे हैं. इन्हीं के निर्देश पर दो दशकों से पार्टी का संचालन होता आया है. अभी भी लालू प्रसाद को ही सुप्रीमो माना जा रहा हैं.
लालू प्रसाद के जेल जाने के बाद क्या पार्टी को संचालित करने के लिए कोर कमेटी का गठन किया जायेगा? इस पर पार्टी के वरिष्ठ नेता राम कृपाल यादव ने स्पष्ट किया कि पार्टी में कोई कोर कमेटी नहीं बनेगी. लालू प्रसाद पार्टी के नेता हैं और रहेंगे. उनके निर्देश से सामूहिक नेतृत्व से पार्टी चलेगी. अब्दुल बारी सिद्दिकी ने कहा कि पार्टी एकजुट है. लालू प्रसाद को साजिश के तहत फंसाया गया है. इस बात को जनता के बीच ले जाया जायेगा. अब पार्टी की कमान कौन संभालेगा? इस पर लालू प्रसाद के बेटे तेजस्वी यादव ने कहा कि वे पार्टी के कार्यकर्ता हैं. कार्यकर्ता ही पार्टी को चलाते हैं. उन्होंने कहा कि लालू प्रसाद को राजनीतिक षडयंत्र के तहत फंसाया गया है.
जेल में लालू प्रसाद यादव से मिलने वालों में गिरिनाथ सिंह, साधु यादव, रघुनाथ झा, रामचंद्र पूर्वे, भाई दिनेश, वृजेंद्र यादव, अभय सिंह, जय सिंह यादव, डॉ मनोज कुमार, सांसद प्रभुनाथ सिंह, विदेश सिंह, राम कृपाल सिंह शामिल थे. जिन्होंने लालू प्रसाद से उनके स्वास्थ्य की जानकारी ली. साथ ही उन्हें धैर्य बनाये रखने को कहा. इसके साथ ही उनके बीच अन्य मुद्दो पर भी बात- चीत हुई.