रांची: चुटिया थाना क्षेत्र के साईं कॉलोनी निवासी छात्र शिवम सिंह, गौरव सिंह और पावर हाउस चौक निवासी सैंकी के फिरौती के लिए अपहरण के पीछे चंदन सोनार गिरोह का हाथ होने की संभावना लगभग स्पष्ट हो चुकी है. सूत्रों के अनुसार छात्रों को मुक्त करने के लिए फिरौती की रकम देने के लिए जिस अपराधी ने छात्रों के परिजनों को फोन किया था, उसकी आवाज इस गिरोह के एक अपराधी बिहार निवासी राकेश सिंह से मिलती-जुलती है.
खबर यह भी है कि चंदन सोनार के निर्देश पर राकेश सिंह ने अपने अन्य सहयोगियों के साथ अपहरण की इस घटना को अंजाम दिया है. इस कार्य में रेकी करने व दूसरे काम में रांची के कुछ अपराधियों ने राकेश काे सहयोग किया था. पुलिस सूत्रों के अनुसार अपहरण कांड में चंदन सोनार गिरोह की बात सामने आने के बाद इस गिरोह के सदस्यों की संलिप्तता पर पुलिस ने जांच केंद्रित कर दी है.
पांच युवक हिरासत में लिये गये
पुलिस ने विभिन्न स्थानों पर छापेमारी कर इस गिरोह से जुड़े होने के संदेह में पांच युवकों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है. पुलिस उनसे पूछताछ कर रही है. हालांकि पुलिस अधिकारियों ने अभी अपहरण के पीछे चंदन सोनार गिरोह की संलिप्तता की बात सामने आने या उसके गिरोह से जुड़े किसी सहयोगी के पकड़े जाने की पुष्टि नहीं की है. इधर, पुलिस की टीम अपहृत तीनों छात्रों को बरामद करने के लिए बिहार, झारखंड और दूसरे राज्यों में छापेमारी कर रही है. हालांकि खबर लिखे जाने तक किसी पुलिस अधिकारी ने तीनों छात्रों के बरामद होने की पुष्टि नहीं की है. बताया जाता है कि चंदन सोनार गिरोह को यह पता चल चुका है कि पुलिस उसके गिरोह के राकेश सहित अन्य सदस्यों को तलाश रही है. इसलिए अपराधी भी रोज अपना ठिकाना बदल रहे हैं.
पांच सितंबर से हैं तीनों छात्र लापता
उल्लेखनीय है कि पांच सितंबर से तीनों छात्र लापता हैं. छह सितंबर को नगड़ी थाना क्षेत्र के बालालौंग से लावारिस अवस्था में कार मिलने के बाद उनके अपहरण को लेकर नगड़ी थाना में केस दर्ज हुआ था. अपहरण के बाद पूर्व में परिजनों ने 20 करोड़ रुपये फिरौती की रकम मांगी थी. इसके बाद दोबारा भी अपराधी फिरौती की रकम के लिए परिजनों से संपर्क कर चुके हैं.