सुपौल : कैंसर के साथ-साथ विभागीय अधिकारियों व सह कर्मियों की संवेदनहीनता के साथ वर्ष 2012 से जंग लड़ रही किसनपुर पीएचसी में पदस्थापित एएनएम रेणु ने अंतत: जीत हासिल की. रेणु की जंग को प्रभात खबर का साथ मिला था. उसके बाद विभागीय अधिकारियों की नींद खुली और लंबित 274 दिनों के उपार्जित अवकाश का भुगतान विभाग द्वारा किया गया. शर्मनाक यह था कि पैसे के अभाव में रेणु टीएमसीएच मुंबई इलाज के लिए नहीं जा पा रही थी.
प्रभात खबर ने उठाया था मुद्दा
प्रभात खबर ने 17 जनवरी को ‘जिंदगी की जंग जीतने की रेणु लगा रही गुहार’ शीर्षक से रेणु की मुश्किलों को प्रकाशित किया था. इसमें कहा गया था कि इलाज के दौरान रेणु अपने कर्तव्य से 274 दिनों तक अनुपस्थित रही थी. सिविल सर्जन ने 27 सितंबर 14 को 180 दिन रूपांतरित अवकाश व 94 दिन उपार्जित अवकाश की स्वीकृति प्रदान करते हुए भुगतान का आदेश पीएचसी प्रभारी मेजर डॉ शशिभूषण प्रसाद को दिया था, लेकिन पीएचसी प्रभारी और लिपिक द्वारा भुगतान नहीं किया जा रहा था. पीडि़ता ने डीएम से भी इस बाबत गुहार लगायी थी.
22 जनवरी को किया गया भुगतान
खबर प्रकाशित होने के बाद और उसी दिन नगर सांसद प्रतिनिधि मनोज कुमार जैन द्वारा डीएम से शिकायत किये जाने के बाद विभागीय अधिकारी हरकत में आये.उसके बाद पीएचसी प्रभारी व प्रभारी लिपिक द्वार विपत्र तैयार कर 22 जनवरी को लंबित राशि का भुगतान किया गया.एएनएम रेणु ने पत्र भेज कर प्रभात खबर के प्रति आभार व्यक्त किया है.