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शांति के साथ मना कुर्बानी का पर्व बकरीद

सीतामढ़ी : त्याग व बलिदान का पर्व -उल-जुहा यानि बकरीदका पर्व देश-प्रदेश की तरह सीतामढ़ी में भी हर्ष व उल्लास के साथ मनाया गया. इस अवसर पर सीतामढ़ी शहर के मेहसौल, मोहनपुर, आजाद चौक, हुसैना, राजोपट्टी, मुरलिया चक व तलखापुर समेत पूरे जिले के इदगाहों में अहले सुबह मुसलमानों ने ईद-उल अजहा की नमाज अता […]

सीतामढ़ी : त्याग व बलिदान का पर्व -उल-जुहा यानि बकरीदका पर्व देश-प्रदेश की तरह सीतामढ़ी में भी हर्ष व उल्लास के साथ मनाया गया.

इस अवसर पर सीतामढ़ी शहर के मेहसौल, मोहनपुर, आजाद चौक, हुसैना, राजोपट्टी, मुरलिया चक व तलखापुर समेत पूरे जिले के इदगाहों में अहले सुबह मुसलमानों ने ईद-उल अजहा की नमाज अता की. वहीं खुदा की बंदगी कर नेकी व रहमत मांगी. साथ ही गले मिल एक-दूसरे को बधाई दी. इसके अलावा बकरों की कुर्बानी भी दी गयी. बकरीद को लेकर इलाका जश्न में डूबा रहा.पूरे जिले में चहल पहल रहीं. मुस्लिम बहुल क्षेत्र के बाजारों की रौनकता में निखार दिखा. ईदगाह के आसपास के इलाकों में मेले सा मंजर दिखा. बच्चों में बकरीद को लेकर खासा उत्साह दिखा.
त्याग व बलिदान का पर्व है बकरीद: सीतामढ़ी . हजरत इब्राहिम व हजरत इस्माइल जबीउल्लाह की कुर्बानी की याद में मनाया जाने वाला पर्व है. यह पर्व रमजान के 70 दिन बाद मनाया जाता है. इस पर्व में लगातार तीन दिनों तक बकरे की कुर्बानी दी जाती है. हजरत इब्राहिम अलैहिस सलाम खुदा के पैगंबर थे. खुदा ने कई बार उनकी परीक्षा ली. सभ्ली परीक्क्षा में वे खरे उतरे. अंत में उन्हें सपने में आया कि वे अपने बेटे की कुर्बानी दे रहे हैं. उन्हें यह एहसास हुआ की खुदा फिर उनसे परीक्षा लेना चाहता है.
उन्होंने अपने सपने की जानकारी पत्नी हाजरा को दी. कहा कि खुदा बेटे की कुर्बानी मांग रहा है. पत्नी ने भी बेटे की कुर्बानी की इजाजत दे दी. 80 साल की उम्र में हजरत इब्राहिम को पुत्र पैदा हुआ था. जिसका नाम उन्होंने इस्माइल रखा था. इब्राहिम ने कुर्बानी की बात अपने बेटे को बतायी. बेटा भी खुदा के लिए अपनी कुर्बानी देने को तैयार हो गया. उसने अपने पिता से कहा कि मेरी कुर्बानी के पहले आप मेरे हाथ और पैर को रस्सी से बांध देंगे, ताकि कुर्बानी करते समय मैंं हाथ पैर न झिटकू. वहीं आंख पर पट्टी बांध देंगे. ताकि छुरी चलाते समय आप को मेरे ऊपर तरस न आये.
इब्राहिम ने ऐसा ही किया. उन्होंने दो बार बेटे की गर्दन पर छुरी चलाई. लेकिन गर्दन नहीं कटा. तीसरी बार छुरी चलाया तो खून का तेज़ छींटा उड़ा. उन्हें लगा की उनके बेटे की कुर्बानी हो गयी. लेकिन उन्होंने जैसे ही आंखों से पट्टी हटाया तो पाया कि उनके बेटे की जगह पर एक दुम्बा (जानवर) की कुर्बानी हो चुकी है, उनका बेटा सामने खड़ा मुस्कुरा रहा है. इब्राहीम अलैहिस सलाम को आवाज आयी की तुम्हारी मुहब्बत खुदा जो मंज़ूर हो गयी है. इसीलिए तुम्हारे बेटे की जगह दुम्बा पहुंच गया था. तब से अब तक इस्लाम समुदाय में कुर्बानी की परंपरा चली आ रही है.
प्रखंडों में भी मनी बकरीद: सीतामढ़ी : त्याग व बलिदान का पर्व बकरीद प्रखंडों में भी हर्ष व उल्लास के बीच मनाया गया. इदगाहों में नमाज व बकरों की कुर्बानी देकर लोगों ने बकरीद की बधाई दी.
बाजपट्टी : प्रखंड के बरहरवा, मुरौल, मदारीपुर,रसलपुर, हुमायूंपुर व मधुबन समेत विभिन्न इलाकों में शांति व सदभाव के साथ बकरीद का पर्व मनाया गया. पर्व के मद्देनजर सुरक्षा के पुख्ता बंदोबस्त रहे.
मेजरगंज : प्रखंड के विभिन्न मस्जिदों और ईदगाहों में शनिवार को बकरीद की नमाज अदा की गई. मुसलमान भाइयों ने शांति व सौहार्दपूर्ण वातावरण में इस पर्व को मनाया. प्रखंड मुख्यालय के अलावा डुमरी खुर्द,रतनपुर, बसबिट्टा हसनपुर, बहेरा व अखडीहा के मस्जिदों और ईदगाहों पर नमाज अदा करने के बाद बकरों की कुर्बानी दी गई. इस दौरान सभी जगहों पर पुलिस बल की तैनाती की गई थी और पुलिस पेट्रोलिंग कर रही थी.
सीतामढ़ी . ईद उल अजहा (बकरीद) के अवसर पर शनिवार को नगर में विभिन्न राजनीतिक, सामाजिक, बुद्धिजीवी संगठनों की ओर से बकरीद मिलन समारोह का आयोजन किया गया.
इस अवसर पर लोगों ने गले मिल कर एक-दूसरे को मुबारकबाद दी. विधायक डॉ रंजू गीता ने बाजपट्टी विस क्षेत्र के मुसलमान भाइयों और बहनों को बकरीद की मुबारकबाद दी. कहा कि बकरीद समर्पण और बलिदान का प्रतीक है. मौके पर विधायक के मीडिया प्रतिनिधि मो अरमान अली, युवा जदयू जिलाध्यक्ष राहुल कुमार सिंह, मो मजहर अली राजा, मो बशारत करीम गुलाब, प्रो गौहर सिद्दीकी, तसलीम बोखाड़ी, सदरे आलम नोमानी समेत कई लोग मौजूद थे. सीतामढ़ी संघर्ष समिति सह युवा कांग्रेस अध्यक्ष मो शम्स शाहनवाज के डुमरा रोड स्थित आवासीय परिसर में बकरीद मिलन समारोह का आयोजन किया गया. मौके पर कांग्रेस जिलाध्यक्ष विमल शुक्ला, सीताराम झा, वीरेंद्र कुशवाहा, डॉ राजेश सिंह, डॉ नरेंद्र सिंह, डॉ अजय, डॉ बसंत, डॉ एकरामुल हक, मो ताहिर, वरिष्ठ अधिवक्ता अखिलेश्वर प्रसाद वर्मा, रणधीर वर्मा, रंजीत कुमार समेत कई लोग मौजूद थे.
वहीं लोकसभा युवा कांग्रेस अध्यक्ष अंजारूल हक तौहीद के जानकी स्थान स्थित आवास पर बकरीद मिलन समारोह में समाज के विभिन्न वर्ग के लोग मौजूद थे. इस अवसर पर कांग्रेस जिलाध्यक्ष विमल शुक्ला ने कहा कि बकरीद त्याग और बलिदान का त्योहार है. मौके पर अमजद राइन, रोहन गुप्ता, कुणाल कुमार सिंह, मो जहांगीर, मो उमर, सत्येंद्र ठाकुर, रेखा देवी, संजय कापड़, सत्येंद्र तिवारी समेत कई लोग मौजूद थे. उधर बिहार प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रतिनिधि मो अफाक खान के पठान टोली आवास पर बकरीद मिलन समारोह का आयोजन किया गया. जिसमें कई राजनीतिक, सामाजिक,
शिक्षाविद व मीडियाकर्मियों ने एक-दूसरे को मुबारकबाद दी. मौके पर प्रमोद कुमार नील, डॉ राजीव कुमार काजू, संजय शर्मा, रितेश रमण सिंह, संजय कुमार बिररख, रकटू प्रसाद समेत कई लोग मौजूद थे. भाजपा अल्पसंख्यक मोरचा की जिलाध्यक्ष शाहीन प्रवीण के राजोपट्टी शाहीन गली स्थित आवास पर बकरीद मिलन समारोह का आयोजन किया गया. इस अवसर पर भाजपा जिलाध्यक्ष सुबोध कुमार सिंह, श्यामचंद्र सिंह अमिताभ, भाजयुमो जिलाध्यक्ष चुनचुन सिंह, कार्तिकेश झा, रोहित कुमार समेत कई लोग मौजूद थे. मदरसा रहमानिया मेहसौल के अध्यक्ष मो अरमान अली के आवास पर बकरीद मिलन समारोह का आयोजन किया गया. मौके पर विधायक डॉ रंजू गीता, जिप उपाध्यक्ष देवेंद्र साह, युवा जदयू जिलाध्यक्ष राहुल कुमार सिंह, मो मजहर अली राजा समेत कई लोग मौजूद थे.
ईदगाह में लगी चादर फूंकी, आक्रोश
बेलसंड . थाना क्षेत्र के परराही गांव स्थित नूरी ईदगाह में में लगाये गये चादर को कुछ असमाजिक तत्वों ने आग लगा जला दिया. इसको लेकर गांव में जबरदस्त आक्रोश दिखा. मौके पर पहुंची पुलिस प्रशासन की टीम ने लोगों को शांत किया. वहीं असामाजिक तत्वों को चिन्हित कर कार्रवाई की बात कहीं. वहीं थानाध्यक्ष सुनील कुमार के मौजूदगी में लोगों ने बकरीद का नमाज अदा किया. बताते चले की परराही गांव में नवाज पढ़ने को लेकर दो गुटों में विवाद चल रहा था. बकरीद के अवसर पर तनाव के बढ़ने की आशंका को देखते हुए शुक्रवार को एसडीओ सुधीर कुमार, बीडीओ डॉ अरुण कुमार सिंह, इंस्पेक्टर रामाकांत प्रसाद सिंह व अवर निरीक्षक सुनील कुमार श्रीवास्तव के साथ अधिकारियों की टीम परराही पहुंचकर विवादित स्थल का मुआयना करा दोनों गुट के बीच समझौता कराया था. प्रथम पक्ष के कबीर व नसीरुद्दीन तथा दूसरे पक्ष के शहुब को समझा बुझाकर विवादित स्थल पर नवाज अता करने को राजी कराया था. साथ हीं तत्काल विवादित स्थल पर यथास्थिति बनाए रखने की भी सहमति ली गयी थी. प्रशासन ने दोनों पक्षों को गले मिलाकर विवाद को समाप्त कराया था.इसी बीच देर रात किसी ने ईदगाह की चादर को जला दिया.
सुरक्षा के पुख्ता बंदोबस्त
सीतामढ़ी : बकरीद को लेकर इलाके में सुरक्षा के पुख्ता बंदोबस्त रहे. सीतामढ़ी शहर के चप्पे-चप्पे पर सशस्त्र बल तैनात रहे. डीएम राजीव रौशन, एसपी हरि प्रसाथ एस, डीएसपी सदर डॉ कुमार वीर धीरेंद्र, डीएसपी मुख्यालय राकेश कुमार व एसडीओ सदर सतेंद्र प्रसाद समेत अधिकारियों ने विभिन्न इलाकों का दौरा कर विधि व्यवस्था का जायजा लिया. जबकि शहर में इंस्पेक्टर मुकेश चंद्र कुवंर, नगर थानाध्यक्ष अनिल कुमार शर्मा, मेहसौल ओपी प्रभारी परवेज कौशर व पुनौरा ओपी प्रभारी ज्ञान प्रकाश समेत पुलिस अधिकारी व सशस्त्र बल गश्त लगाते रहे.

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