छपरा (नगर) : मॉनसून आने के साथ ही जिले में रुक-रुक हो रही बारिश ने भले ही शहरी लोगों की मुसीबत बढ़ा दी है. लेकिन ग्रामीण इलाकों में बारिश की फुहारों के साथ ही किसानों के चेहरे खुशी से खिल उठे हैं.
खरीफ फसल के लिए खेतों की सफाई के साथ ही हल-बैल या ट्रैक्टर से जुताई का काम शुरू हो चुका है. उधर, खेतों में धान का बिचड़ा तैयार किया जा रहा है. सदर प्रखंड के करींगा निवासी शिवमुनी महतो ने बताया कि ऐसे ही दो-चार दिनों तक लगातार बारिश हुई तो किसानों को धान का बिचड़ा लगाने में काफी मदद मिलेगी. वहीं, उन्हें पंपसेट से पानी पटाने की जरूरत नहीं पड़ेगी.
* सड़कों पर जलजमाव
उधर, लगातार हो रही बारिश ने शहरवासियों की मुश्किलों को बढ़ा दिया है. मॉनसून की पहली बारिश ने ही नप की सफाई व्यवस्था की पोल खोल कर रख दी है. शहर के सलेमपुर, दलदली बाजार, गुदरी, राजेंद्र कॉलेज मोड़, मेवालाल चौक, गांधी चौक, साहेबगंज, सरकारी बाजार, कोर्ट देवी समेत शहर के अधिकांश मुहल्लों में जलजमाव हो गया है.
घर में बाहर निकलते ही लोगों को नालियों के गंदे पानी में उतरने को बाध्य होना पड़ रहा है. सबसे अधिक परेशानी तो महिलाओं व छात्राओं को हो रही है. जबकि सड़कों पर बने गड्ढों में पानी जमा होने से वाहनों के दुर्घटनाग्रस्त होने की घटना बढ़ने लगी है. वहीं सड़क के किनारे स्थायी व अस्थायी दुकानदारों का व्यवसाय भी जलजमाव के भेंट चढ़ने लगा है.
* बढ़ी छाता व रेन कोट की बिक्री
बारिश की शुरुआत होते ही इससे बचने के लिए छाता व रेन कोट की बिक्री बढ़नी शुरू हो गयी है. इस बार मॉनसून के पहले ही बारिश शुरू हो जाने से अस्थायी व फुटपाथी दुकानदारों के साथ ही स्थायी दुकानदारों द्वारा भी विभिन्न ब्रांडों की रंग-बिरंगी छाता के साथ ही स्टाइलिश रेन कोट को दुकान के आगे लगाना शुरू कर दिया है.
शहर के नगरपालिका चौक के समीप ही करीब आधा दर्जन फुटपाथी व मौसमी दुकानदारों ने छाता व रेन कोट का व्यवसाय शुरू कर दिया है. सस्ता व आकर्षक लुक के कारण यहां खरीदारों की भारी भीड़ जुट रही है. वहीं, ब्रांडेड कंपनियों की छाता व रेन कोट के खरीदार साहेबगंज के हथुआ मार्केट में पहुंच रहे हैं.