अतिक्रमण. लंका टोलावासियों को मिला जमीन खाली करने का अल्टीमेटम
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200 परिवारों पर विस्थापन का खतरा
अतिक्रमण. लंका टोलावासियों को मिला जमीन खाली करने का अल्टीमेटम बीते करीब 20 वर्षों से लंका टोलावासी लंका टोला में घर बना कर रहे हैं. अब उन्हें 26 जून को जमीन खाली करने का नोटिस जारी कर िदया गया है. शनिवार को सभी समाहरणालय पहुंचे थे. पूर्णिया : केहाट थाना क्षेत्र के मुर्गीफार्म लंका टोला […]
बीते करीब 20 वर्षों से लंका टोलावासी लंका टोला में घर बना कर रहे हैं. अब उन्हें 26 जून को जमीन खाली करने का नोटिस जारी कर िदया गया है. शनिवार को सभी समाहरणालय पहुंचे थे.
पूर्णिया : केहाट थाना क्षेत्र के मुर्गीफार्म लंका टोला के 200 से अधिक परिवारों के ऊपर अब विस्थापन का खतरा मंडराने लगा है. उन्हें बकायदा 26 जून को पूर्व प्रखंड के अंचलाधिकारी द्वारा नोटिस भेज कर सात दिन के अंदर जमीन खाली करने का आदेश दिया गया था. इस आदेश के बाद अब इन परिवारों के बीच खलबली मची हुई है और समस्या का समाधान दूर-दूर तक नजर नहीं आ रहा है. परेशानी के दौर से गुजर रहे ऐसे ही सैकड़ों लोग शनिवार को जिला पदाधिकारी से मिलने समाहरणालय पहुंचे, लेकिन उनसे मुलाकात नहीं हो सकी. उसके बाद उन लोगों ने लोक शिकायत निवारण कार्यालय में लिखित तौर पर अपनी समस्या रखी. आवेदन में वैकल्पिक व्यवस्था होने तक जमीन खाली करवाने पर रोक लगाने की मांग की गयी है.
प्रशासन पर लगाया पक्षपात का आरोप : छोटे-छोटे बच्चों के साथ पहुंची महिलाओं ने कहा कि जमीन खाली कराने के आदेश से वे सभी परेशान हैं और इस बरसात के मौसम में बच्चों को लेकर कहां जायेंगे. पीड़ितों में बबीता देवी, शीला देवी, मेरी हांसदा, संगीता देवी, नाजो खातून, शहजादी बेगम, ज्योति देवी, चंदा देवी, कंचन देवी, गूंजा देवी, नगीना देवी आदि ने कहा कि आधा शहर खास महल की जमीन पर बसा हुआ है, जिन्हें प्रशासन कुछ नहीं कहती, जबकि वे सभी भूमिहीन हैं और मजदूरी कर अपने परिवार का जीवनयापन कर रही है. कहा कि अतिक्रमण के खिलाफ अगर अभियान ही चलाना है तो सबों को एक नजरिये से देखा जाना चाहिए. आक्रोशित महिलाओं ने कहा कि वे जान दे देंगी, लेकिन जमीन खाली नहीं करेंगी.
20 वर्षों से लंका टोला है आबाद जमीन देने का िमला था आश्वासन
समाहरणालय पहुंची महिलाओं ने बताया कि वे लोग लंका टोला में करीब 20 वर्षों से अधिक समय से घर बना कर रह रहे हैं. जहां तक जिला जज के आवास परिसर की जमीन है, उससे हट कर पूरब, दक्षिण व पश्चिम की ओर वे लोग बसे हुए हैं. कहा कि किसी भी परिवार के पास रहने के लिए अन्य कोई जमीन नहीं है. विगत 12 अप्रैल 2015 को भी अंचलाधिकारी के द्वारा जमीन खाली कराने के लिए नोटिस जारी किया गया था. नोटिस के जवाब तलब के बाद अंचलाधिकारी ने 06 जून 2015 को शिविर आयोजित किया था. उक्त शिविर में सभी भूमिहीन लोगों को 03 से 05 डिसमिल जमीन मुहैया कराने के बाद ही अतिक्रमण मुक्त करवाने का आश्वासन दिया गया था. इसी शिविर में 40 से 50 व्यक्तियों का समूह बना कर हस्ताक्षर भी करवाया गया था. इसके बाद अंचल कार्यालय द्वारा किसी भी प्रकार की कार्रवाई नहीं की गयी, परंतु 26 जून 2016 को अंचलाधिकारी द्वारा अतिक्रमण वाद संख्या 01/15-16 के तहत सभी लोगों को पुन: जमीन खाली करने हेतु नोटिस दिया गया है.
अनधिकृत रूप से जमीन पर कब्जा जमाये हैं लोग
पूर्व के अंचलाधिकारी ने क्या आश्वासन दिया था, इस बात की जानकारी नहीं है. सभी लोग अनधिकृत रूप से लंका टोला में जमीन पर कब्जा जमाये हुए हैं, जो अवैधानिक है. नियमानुसार ही जमीन खाली करने का आदेश भेजा गया है.
मो फहीमुद्दीन अंसारी, प्रभारी सीओ, पूर्णिया पूर्व
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