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अगस्त से कैंसर यूनिट 90% सस्ता होगा इलाज

एम्स : महज 10% खर्च पर होगा इलाज, मिलेगी छूट आनंद तिवारी पटना : प्रदेश के कैंसर मरीजों के लिए राहत की खबर है. ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (एम्स), पटना में कैंसर के संपूर्ण इलाज के लिए अगस्त से यूनिट शुरू होगा. केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने कैंसर यूनिट शुरू करने […]

एम्स : महज 10% खर्च पर होगा इलाज, मिलेगी छूट
आनंद तिवारी
पटना : प्रदेश के कैंसर मरीजों के लिए राहत की खबर है. ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (एम्स), पटना में कैंसर के संपूर्ण इलाज के लिए अगस्त से यूनिट शुरू होगा. केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने कैंसर यूनिट शुरू करने की मंजूरी दे दी है. फैकल्टी की नियुक्ति के बाद अगले तीन महीने में यूनिट काम करने लगेगा. इसको लेकर अस्पताल प्रशासन की ओर से तैयारी अंतिम चरण में है. कैंसर विभाग की एचओडी डॉ प्रीतांजलि को ट्रेनिंग के लिए अमेरिका भेजा गया है.
इस तरह समझें कैसे मिलेगी 90% की छूट : एम्स में कैंसर की दवाइयों पर 90% की छूट मिलेगी. निजी अस्पतालों में कीमोथैरेपी पर 1 लाख 50 हजार, रेडियोथैरेपी पर 25 हजार और सर्जरी पर 30 हजार रुपये खर्च आते हैं. अगर किसी मरीज को तीनों तरह का इलाज करना पड़े तो करीब 2 लाख रुपये खर्च होते हैं. जबकि, एम्स में रेडियोथैरेपी में महज ढाई से तीन हजार रुपये ही खर्च होंगे. कैंसर के अन्य इलाज पर भी मरीजों को कम खर्च करने होंगे. इस तरह एम्स में कैंसर के इलाज पर निजी अस्पतालों की तुलना में करीब दस फीसदी ही खर्च आयेगा यानी 90% की छूट मिलेगी.
विभाग में फैकल्टी की होगी नियुक्ति : कैंसर यूनिट के लिए आंकोलॉजी व सर्जिकल आंकोलॉजी विभाग में 8-8 फैकल्टी की नियुक्ति की जायेगी. इसके लिए आवेदन मंगाये गये हैं. विभाग का नेतृत्व डॉ प्रीतांजलि करेंगी.
सस्ती दवाओं को अमृत फार्मेसी : एम्स में सस्ती दवाओं के लिए अमृत फार्मेसी खोली गयी है, जिसका दायरा और बढ़ाया जायेगा. अगले दो महीने में कैंसर की सभी तरह की दवाएं यहां उपलब्ध होंगी.
अभी होता है महंगा इलाज : अभी प्रदेश में सरकारी क्षेत्र में कहीं भी कैंसर का संपूर्ण इलाज उपलब्ध नहीं है. आइजीआइएमएस में स्टेट कैंसर वार्ड अलग से बनाया जा रहा है. लेकिन, ऑटोनोमस अस्पताल होने के कारण यहां मरीजों को अधिक खर्च करना पड़ता है. यहां गरीबी रेखा से नीचे जीवनयापन करनेवाले मरीजों के इलाज का खर्च सरकार वहन करती है, जबकि सामान्य मरीजों को स्वयं खर्च करना पड़ता है.
क्या कहते हैं अधिकारी :
कैंसर यूनिट का काम लगभग पूरा हो चुका है. अगस्त से लिनियर एस्केलेटर मशीन काम करने लगेगी. यहां दिल्ली एम्स के तर्ज पर मरीजों का इलाज होगा. करीब 90 फीसदी सस्ती दरों पर इलाज होगा. यूनिट शुरू करने के लिए डॉक्टरों की बहाली के लिए आवेदन मंगाये गये हैं. मरीजों का आधुनिक इलाज हो इसके लिए डॉ प्रीतांजलि को अमेरिका ट्रेनिंग के लिए भेजा गया है.
– डॉ उमेश भदानी, मेडिकल सुपरिटेंडेंट, एम्स पटना
कैंसर यूनिट का काम लगभग पूरा हो चुका है. अगस्त से लिनियर एस्केलेटर मशीन काम करने लगेगी. यहां दिल्ली एम्स के तर्ज पर मरीजों का इलाज होगा. करीब 90 फीसदी सस्ती दरों पर इलाज होगा. यूनिट शुरू करने के लिए डॉक्टरों की बहाली के लिए आवेदन मंगाये गये हैं. मरीजों का आधुनिक इलाज हो इसके लिए डॉ प्रीतांजलि को अमेरिका ट्रेनिंग के लिए भेजा गया है.
डॉ उमेश भदानी, मेडिकल सुपरिटेंडेंट, एम्स पटना

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