ऐसी ही एक घटना कि शिकार हुई एक महिला जब जक्कनपुर थाने पहुंची तो उसका मजाक उड़ाया गया. जमादार ने आवेदन लेते हुए कहा कि मैडम… आपने एटीएम कार्ड का नंबर क्यों बता दिया, केस तो दर्ज हो जायेगा, लेकिन पैसा नहीं मिल पायेगा. आइये आपको घटना से अवगत कराते हैं कि कैसे लोग साइबर क्रिमिनल के जाल में फंस जा रहे हैं.
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साइबर क्राइम: मैडम ! एटीएम कार्ड का नंबर क्यों बताया आवेदन तो ले रहे हैं, पर पैसा नहीं मिलेगा
पटना : ऑनलाइन फ्रॉड केस में पुलिस कुछ करे या न करे, फरियादी का मजाक जरूर बना दे रही है. किस नंबर से फोन आया, नंबर किसके नाम से है, जहां से फोन आया उसका टावर लोकेशन कहां का है इसकी न जांच हो रही है और न ही साइबर क्राइम के एक्सपर्ट की मदद […]
पटना : ऑनलाइन फ्रॉड केस में पुलिस कुछ करे या न करे, फरियादी का मजाक जरूर बना दे रही है. किस नंबर से फोन आया, नंबर किसके नाम से है, जहां से फोन आया उसका टावर लोकेशन कहां का है इसकी न जांच हो रही है और न ही साइबर क्राइम के एक्सपर्ट की मदद से क्रिमिनल तक पहुंचने का प्रयास हो रहा है. इस तरह के केस में तत्काल कार्रवाई की जरूरत है, पर पुलिस केस दर्ज करने में ही एक सप्ताह लगा देती है.
10 मिनट में ही 49 हजार पार
जक्कनपुर थाने के बटुकेश्वर दत्ता लेन की संजू दयानंद मिडिल स्कूल में प्रधानाध्यापिका हैं. मीठापुर एसबीआइ में एकाउंट है. 24 अगस्त को मनीष कुमार वर्मा नामक व्यक्ति ने कॉल किया और खुद को बैंक मैनेजर. उसने कहा कि आपका एकाउंट आधार से लिंक नहीं हुआ है. आधार नंबर बताइए, नहीं तो एटीएम बंद हो जायेगा. महिला ने पहले आधार नंबर बताया और फिर उसके पूछने पर एटीएम का 16 डिजिट का नंबर बता दिया. 10 मिनट बाद खाते से 49 हजार स्वेप कर लिये गये. बैंक पहुंची और एटीएम बंद कराया. जब वह थाने पहुंची, तो मजाक की पात्र बनीं.
एक्जिक्यूटिव बन ठग लिये
पटना का ही युवक (रिक्वेस्ट पर नाम पता गोपनीय रखा जा रहा है) ओड़िशा में जॉब करता है. उसे 20 अगस्त को एसएमएस आया. उसमें निजी कंपनी में एचआर एक्जिक्यूटिव के पद पर नौकरी के लिए एक लिंक और मोबाइल नंबर दिया था. लिंक पर आधार, पैन नंबर, एटीएम कार्ड नंबर मांगा गया. उसने सब भर दिया. इसके बाद उसके एकाउंट से 9,600 स्वेप कर लिये गये. उसने एटीएम ब्लॉक कराया, केस दर्ज कराया और साइबर सेल को भी फोन किया. हर जगह से एक ही जवाब मिला कि पैसा नहीं मिल सकता. उसका नंबर अब भी यूपी में एक्टिवेट है.
तो ट्रेस हुआ मोबाइल नंबर
खाजेकलां के रहनेवाले सुबोध पांडेय का केस 26 अगस्त के अंक में प्रकाशित किया गया था. इसके बाद उस नंबर को पुलिस ने ट्रेस किया है, जिससे फोन कर एटीएम कार्ड का नंबर पूछा गया था. वह नंबर देवघर के बभनगांवा भवन का है. जिस आइडी पर सिम लिया गया है, उसका नाम हरिहर कुमार है. उस नंबर पर लगातार बात हो रही है. पुलिस छानबीन कर रही है, लेकिन उसके हाथ अब भी खाली हैं.
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