Advertisement
2011 की शहरी आबादी हर वार्ड में की जा रही शामिल
कवायद. नगर निकायों के चुनावों की शुरू हुई तैयारी 2011 की जनसंख्या पर नगर निकायों के अाम चुनाव कराने से पदों के आरक्षण के चक्रानुक्रम को पंचायत के तर्ज पर निर्धारित किया जायेगा. पटना : राज्य निर्वाचन आयोग 2017 के नगर निकायों की तैयारियों में जुट गया है. 2017 के अप्रैल-जून के बीच नगर निकायों […]
कवायद. नगर निकायों के चुनावों की शुरू हुई तैयारी
2011 की जनसंख्या पर नगर निकायों के अाम चुनाव कराने से पदों के आरक्षण के चक्रानुक्रम को पंचायत के तर्ज पर निर्धारित किया जायेगा.
पटना : राज्य निर्वाचन आयोग 2017 के नगर निकायों की तैयारियों में जुट गया है. 2017 के अप्रैल-जून के बीच नगर निकायों का चुनाव कराया जाना है. राज्य में 140 नगर निकाय हैं.
इसमें कुल 3193 वार्ड बनाये गये हैं. इन वार्डों में ही 2011 की शहर जनसंख्या को फिट किया जा रहा है. 2011 की जनसंख्या पर नगर निकायों के अाम चुनाव कराने से पदों के आरक्षण का चक्रानुक्रम को पंचायत के तर्ज पर निर्धारित किया जायेगा. राज्य निर्वाचन आयोग नगर निकायों में 2011 की जनगणना के आधार पर अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति की जनसंख्या को पहले अलग करेगा. इससे पदों के आरक्षण में चक्रानुक्रम को लागू करने में आसानी होगी. नगर निकायों में अनुसूचित जाति व जनजाति को जनसंख्या के अनुपात में आरक्षण का प्रावधान लागू करना हैं. राज्य सरकार द्वारा नगर निकायों के परिसीमन पर 2021 तक रोक लगाने से आयोग का रास्ता आसान हो गया है.
इस निर्णय के बाद आयोग ने राज्य के 11 नगर निगमों में गठित 545 वार्डों में नयी जनसंख्या को फिट करना शुरू कर दिया है. 2001 में इन नगर निगमों की कुल आबादी 39 लाख 40 हजार 19 थी जो अब 2011 की जनगणना में बदल जायेगी. इसी तरह से राज्य के 42 नगर परिषदों में वार्डों की कुल संख्या 2176 है. 42 नगर परिषदों में 2001 की आबादी 31 लाख पांच हजार 434 थी. इसी तरह से 87 नगर पंचायतों में वार्डों की कुल संख्या 1372 हैं. 2001 की जनगणना में 87 नगर पंचायतों में कुल 22 लाख 14 हजार 324 थी.
वर्ष 2001 में राज्य के नगर निकायों में रहनेवाली आबादी कुल 92 लाख 59 हजार 747 थी. अब 2011 की जनगणना रिपोर्ट आ गयी है. इस नयी जनसंख्या को हर वार्ड में शामिल किया जा रहा है. यहां के कुल 72 वार्डों में 16 लाख 84 हजार 297 लोग निवास कर रहे हैं. पटना नगर निगम में वार्ड संख्या 39 में महज 10 हाजर 949 लोग रहते हैं जबकि वार्ड संख्या 22 की आबादी उससे 10 गुनी अधिक एक लाख 261 है. यह इस कारण से है कि इस वार्ड में पांच पंचायतों को निगम क्षेत्र में शामिल कर लिया गया है.
नगर निकायों में वार्डों के गठन के लिए जनसंख्या को आधार माना जाता है. जैसे नगर पंचायत का गठन 12 हजार से ऊपर की आबादी के लिए किया जाता है जिसमें न्यूनतम 10 और अधिकतम 25 वार्ड ही गठित किये जा सकते हैं.
इसी तरह से नगर परिषद का गठन 40 हजार से लेकर दो लाख की आबादी तक वाले निकायों में किया जायेगा जबकि ऐसे परिषद में न्यूनतम 25 वार्ड और अधिकतम 45 वार्ड ही बनाये जा सकते हैं. इसी तरह से दो लाख से 10 लाख व उससे अधिक की आबादी के लिए न्यूनतम 45 और अधिकतम 75 वार्ड ही बनाये जा सकते हैं. अब जो भी नयी जनसंख्या है उसको इन्ही वार्डों में शामिल किया जाना है.
मतदान का आधार 2017 की अंतिम मतदाता सूची
राज्य में होनेवाले नगर निकायों के आम चुनाव के लिए जनसंख्या 2011 की होगी तो मतदाता 2017 के आधार पर तैयार किये जायेंगे. भारत निर्वाचन आयोग हर वर्ष 25 जनवरी तक राज्य के मतदाताओं की अंतिम सूची तैयार कर लेता है. यह सूची विधानसभा के आधार पर तैयार की जाती है.
भारत निर्वाचन आयोग द्वारा विधानसभा वार तैयार की गयी सूची के राज्य निर्वाचन आयोग अपने अनुसार उसका निर्वाचन क्षेत्र के आधार पर वार्डवार विखंडन करता है. राज्य निर्वाचन आयोग 2017 में तैयार मतदाता सूची के आधार पर अपनी सूची तैयार करेगा. इसमें सभी 18 वर्ष से ऊपर आयु के योग्य मतदाताओं को शामिल किया जायेगा. यह मतदाता स्थानीय नगर सरकार का चुनाव करेंगें.
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement