35.4 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

शराब से हो रही जिंदगी बरबाद

शराब से हो रही जिंदगी बरबाद संवाददाता, पटनाकभी-कभी हमारे शौक और मजाक में किये गये काम हमारे लिए जान की आफत बन जाती है. भले कई लोग शराब शौक से पीते हों, लेकिन यह शौक उनके लिए कब उनकी लत बन जाती है, ये उन्हें पता ही नहीं चलता. इसके बाद वे चाह कर भी […]

शराब से हो रही जिंदगी बरबाद संवाददाता, पटनाकभी-कभी हमारे शौक और मजाक में किये गये काम हमारे लिए जान की आफत बन जाती है. भले कई लोग शराब शौक से पीते हों, लेकिन यह शौक उनके लिए कब उनकी लत बन जाती है, ये उन्हें पता ही नहीं चलता. इसके बाद वे चाह कर भी इसको छोड़ नहीं पाते हैं. आज की कड़ी में ऐसे ही एक शख्स के बारे में हम जानेंगे, जिन्होंने अब तक शराब के नशे में लगभग 10 बार गाड़ी को एक्सीडेंट कर चुके हैं. उनके पैर का कई बार ऑपरेशन हो चुका है. एक बार तो रीढ़ की हड्डी टूट गयी. इससे वे छह महीने तक बेड पर रहे, इसके बाद भी वे शराब नहीं छोड़ पा रहे हैं. नशे में एक्सीडेंट-पर-एक्सीडेंट, पर नहीं छूटी शराब मैं बचपन से ही गाड़ी चलाने का शौक रखता था. बाइक से मैं लहरिया कट चलाने में एक्सपर्ट था. गाड़ी चलाने में मेरे बैलेंस को देख कर मेरे सारे दोस्त काफी आश्चर्य करते थे. मैं आंख बंद करके भी गाड़ी पूरी रफ्तार से चला लेता था. कभी कोई एक्सीडेंट नहीं हुआ, लेकिन अब मैं यह नहीं कर पाता हूं. मुझे शराब की बुरी आदत लग गयी है. जब से मैं शराब पीना शुरू किया, मेरा खुद पर से आत्मविश्वास खत्म हो गया. इसके अलावा खुद पर से बैंलेंस भी जाता रहा. शुरू में तो शराब शौक से पीता था, लेकिन बाद में शौक आदत बन गयी. मेरे दोस्त मुझे शराब पीकर गाड़ी चलाने का चैलेंज देते थे. जब शौक से शराब पीता था, तो चैलेंज भी जीत गया. उस समय बहुत ज्यादा नशा में नहीं रहता था, लेकिन जब शराब की लत लग गयी, तो मेरा रूटीन ही चेंज हो गया. चैलेंज के चक्कर में एक्सीडेंट पर एक्सीडेंट होने लगा. दानापुर के पास ऊंचाई वाले स्थान से नीचे गिर गया. मेरे सिर में काफी चोट आयी. तीन महीने तक बिस्तर पर पड़ा रहा. इसके बाद से मेरा आत्मविश्वास डाेेल गया. गाड़ी चलाने से डरने लगा, लेकिन शराब नहीं छोड़ पाया. परिवार वालों ने मेरी गाड़ी बेच डाली. मैं अब तक दस बार से अधिक बार कार और बाइक से एक्सीडेंट कर चुका हूं. – पीयूष रंजन (बदला हुआ नाम)कोटशराब इनसान को जिद्दी बना देता है. ऐसे में मरीज के साथ काफी प्यार से पेश आना होता है. जिस काम के लिए उन्हें मना कीजिए, वे उसी काम को करना चाहते हैं. ऐसे में उनकी काउंसेलिंग की जाती है. उन्हें उनके नुकसान के बारे में बता कर उन्हें समझाया जाता है. कई बार डराया और धमकाया तक जाता है. डाॅ विवेक विशाल, हितैसी हैप्पीनेस\\\\B

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें