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समीक्षा बैठक: सीएम ने दिया निर्देश, 91 करोड़ रुपये मंजूर जल्द बांटें डीजल अनुदान

पटना: राज्य के अधिकतर जिलों में सामान्य से कम बारिश होने के कारण मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सभी जिलों में किसानों के बीच डीजल अनुदान की राशि बांटने का निर्देश दिया है. इस मद में 91 करोड़ रुपये भी जारी कर दिये गये हैं. राज्य में अभी तक लक्ष्य की तुलना में महज 42.95 फीसदी […]

पटना: राज्य के अधिकतर जिलों में सामान्य से कम बारिश होने के कारण मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सभी जिलों में किसानों के बीच डीजल अनुदान की राशि बांटने का निर्देश दिया है. इस मद में 91 करोड़ रुपये भी जारी कर दिये गये हैं. राज्य में अभी तक लक्ष्य की तुलना में महज 42.95 फीसदी रोपनी हो सकी है.

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने गुरुवार को बाढ़ पूर्व तैयारी व मॉनसून के कमजोर होने से उत्पन्न स्थिति पर सभी डीएम के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा की. मुख्यमंत्री ने विधानसभा चुनाव को देखते हुए सभी विभागों को निर्देश दिया कि वे सभी आवश्यक निर्देश प्राप्त कर लें, जिससे कि आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद भी विकास व आवश्यक कार्य बाधित नहीं हो सके.

आपदा प्रबंधन विभाग के प्रधान सचिव व्यासजी ने बैठक के बाद बताया कि बिहार में मॉनसून की विरोधाभासी तसवीर उभर कर आयी है. सभी प्रदेशों में सामान्य बारिश हुई.

है, पर बिहार इससे वंचित है. इसे देखते हुए मुख्यमंत्री ने मौसम विभाग को मॉनसून के बारे में ठोस आंकड़ा प्राप्त करने को कहा. समीक्षा में पाया गया कि उत्तर बिहार के अधिकतर जिलों में औसत से कम बारिश हुई है, जबकि दक्षिण बिहार में सामान्य से अधिक बारिश हुई है. 21 जिलों में बारिश कम हुई है, जबकि 17 जिलों में सामान्य से अधिक बारिश हुई है. कम बारिशवाले जिलों में सीतामढ़ी में 74 फीसदी, शिवहर में 59 फीसदी, सहरसा में 57 फीसदी, पूर्णिया में 55 फीसदी, मधुबनी में 59 फीसदी, पूर्वी चंपारण में 57 फीसदी, अररिया में 46 फीसदी, सीवान में 48 व सुपौल में 42 फीसदी शामिल हैं, जहां पर औसत से कम बारिश हुई है. क्राइसिस मैनेजमेंट की बैठक में होगी समीक्षा किसानों को धान के बिचड़े लगाने, उसे बचाने व रोपनी में मदद के लिए डीजल सब्सिडी वितरित करने का निर्देश दिया गया. जिलों से यह जानकारी मिली कि किसानों द्वारा डीजल अनुदान के लिए आवेदन प्राप्त नहीं हो रहे हैं, इस पर मुख्यमंत्री ने सूचना जनसंपर्क विभाग को निर्देश दिया कि वह विज्ञापन जारी कर इसकी सूचना किसानों तक पहुंचाएं. इसके अलावा सभी डीएम को पेयजल की व्यस्था करने के लिए चापाकलों को सुचारु बनाने का निर्देश दिया गया. मुख्य सचिव को एक सप्ताह होनेवाले क्राइसिस मैनेजमेंट की बैठक में इसकी समीक्षा करने को कहा गया.

अगर इसके लिए धन की आवश्यकता हो, तो आपदा विभाग से संपर्क कर प्राप्त करने को कहा गया. बाढ़ को लेकर आपदा विभाग द्वारा मानक संचालन नियम तैयार है, जिसमें जिलों का कार्य करना है. बैठक में मुख्यसचिव अंजनी कुमार सिंह, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव धर्मेद्र सिंह गंगवार सहित अन्य विभाग के प्रधान सचिव मौजदू थे.

बारिश में भी मनरेगा का काम
समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने बारिश के मौसम में भी मिट्टी कार्य कराने की अनुमति दे दी है. प्रावधान के अनुसार 15 जून के बाद मिट्टी के कार्य पर रोक लगा दी जाती है. ग्रामीण विकास विभाग को यह निर्देश दिया गया है कि वह इस दिशा में अनुमति लेकर सभी जिलों में निर्देश भेज दें. अब बारिश के मौसम में भी मनरेगा के तहत रोजगार दिया जायेगा.

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