पटना: जदयू के प्रवक्ता व विधान पार्षद नीरज कुमार ने पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी से 16वें सवाल में पूछा है कि ग्रामीण क्षेत्रों में सड़क निर्माण में केंद्र का दायित्व है या नहीं? क्या कोर नेटवर्क में शामिल सड़क की पात्रता प्रधानमंत्री सड़क योजना में शामिल किये जाने के लायक नहीं है? क्या बिहार देश के भौगोलिक मानचित्र से बाहर है? उन्होंने कहा कि सुशील मोदी केंद्र की पक्षपात रवैये के खिलाफ बिहारी बन कर दलीय हित से ऊपर राज्य हित में आवाज उठाने की आदत बनावें.
राज्य सरकार ने 2014-15 तक 3760 पथ जिसकी कुल लंबाई 6350 किलोमीटर है. उसका निर्माण का काम शुरू कर दिया गया है. इसमें राज्य संसाधनों में 5245 करोड़ की राशि से नियत समय के तहत पूरा करने का लक्ष्य है.
जदयू जानना चाहता है कि प्रधानमंत्री सड़क योजना जो ग्रामीण क्षेत्रों की सड़क संपर्कता का महत्वपूर्ण माध्यम है, उसके राज्यवार आवंटन में पक्षपात जैसे सवाल पर आपकी आवाज क्यों बंद है. विशेष राज्य का दर्जा पर चुप रहना राजनीतिक लाचारी है, लेकिन सड़क के क्षेत्र में बिहार मूल के नागरिक होने के कारण आप भयरहित होकर बतायें. नीतीश कुमार द्वारा बनाये गये रोड मैप के तहत ग्रामीण क्षेत्र में सड़क, पुल पुलिये बनाने में करीब 20,638 करोड़ की राशि से ग्रामीण क्षेत्रों में सड़क की संपर्कता बढ़ाने के लिए बनाया गया.