नवादा : फर्जी कंपनियों की इन दिनों भरमार हो गयी है. इससे बचने का हमेशा प्रयास करें. ऐसी कंपनियां बैंकों से ज्यादा लाभ देने की बात कह कर लोगों को लुटने में लगे हैं. जागरूकता ही फर्जीवाड़े से बचाव का मुख्य साधन है.
असली व नकली से बचाव का मुख्य साधन है. असली व नकली नोटों की पहचान करने की जानकारी भी लोगों में होना चाहिए. ये बातें आरबीआइ पटना के एजीएम शैल्या कुमारी ने प्रोजेक्ट कन्या इंटर विद्यालय के छात्राओं के बीच कही.
वह जिले के सुदूर क्षेत्रों में बैंकिंग का प्रचार-प्रसार को लेकर आउटरी प्रोग्राम फोर आरबीआइ के तहत जागरूकता कार्यक्रम में भाग लेन के लिए सोमवार को यहां आयी थी. उन्होंने बच्चों को बताया कि एटीएम व बैंक खातों से टेक्नोलॉजी के तहत नोट गायब कर लिया जाता है. इसमें सावधानी बरतने की जरूरत है. उन्होंने नोट के चित्र को दिखा कर बताया कि अधिकांश 500 व एक हजार के नकली नोट बाजार में मिलते हैं.
उन्होंने कहा कि सही नोटों में कलर चेंज इंक होता है. ब्लू व ग्रीन कलर रहता है जो घुमाने पर बदलता है. अगर ऐसा नहीं हुआ तो वह नोट नकली होता है. नंबर पैनल को मिलाने पर सामानता रहना चाहिए. अगर, लेटर बड़ा छोटा हो तो वह भी नकली नोट की एक पहचान है.
साथ ही उन्होंने बैंकिंग सुविधाओं के बारे में भी जानकारी दी. इसके अलावा उन्होंने बच्चों को बचत करने का तरीका भी बताया गया. इस दौरान स्कूली छात्राओं के बीच क्विज का भी आयोजन किया गया. इसमें बैंकिंग से जुड़े सवाल किये गये. सही जवाब देने वाले बच्चों को पुरस्कृत भी किया गया.
बच्चों को मैसूर, देवास, नासिक व सल्कोनी में नोट के प्रिंटिंग प्रेस होने की जानकारी दी. साथ ही सिक्कों का टक्साल हैदराबाद, कोलकाता, दिल्ली व बेलापुर में रहने की जानकारी दी. साथ ही एटीएम का पूरा नाम ऑटोमैटिक टेलर मशीन बताया. इस दौरान उन्होंने विद्यालय को खेलकूद का सामान भी उपहार स्वरूप दिया. इसमें कैरम बोर्ड, थ्रो बॉल, बैडमिंटन का पूरा सेट आदि शामिल हैं.
मौके पर एलडीएम पीके कन्नौजिया, डीइओ सैय्यद एहतेशाम हुसैन, एमबीजीबी के आरडीएम प्रदीप शर्मा, डीडीएम नाबार्ड आरके शर्मा व प्राचार्य सुरेश प्रसाद सिंह आदि मौजूद थे.