मुजफ्फरपुर. ब्रह्मपुरा थाने की कबीर मठ की जमीन पर हार्ट हॉस्पिटल नहीं बन सका है. जबकि जमीन दिये करीब 10 वर्ष से ज्यादा हो गये. भवन निर्माण नहीं हो सका और यह जमीन संदिग्ध लोग व अवारा पशुओं का अड्डा बन गया. जमीन पर कब्जे की साजिश चल रही है. मठ के महंत को धमकी मिलती है.
वह कुछ बोलने को तैयार नहीं हैं. कई बार ब्रह्मपुरा थाने से शिकायत की गयी. लेकिन, किसी ने एक नहीं सुनी. जबकि जमीन दान करने वक्त कहा गया था कि यहां डोनर का नाम व उनके पति स्व. ब्रज बिहारी प्रसाद की प्रतिमा लगाना था. लेकिन, कुछ नहीं हुआ. यह बातें शिवहर सांसद रमा देवी ने शुक्रवार को डीएम व एसएसपी से मुलाकात के बाद पत्रकारों से कही. समाहरणालय में पत्रकारों से कहा कि यहां निर्माण नहीं होने देने में वरिष्ठ पुलिस पदाधिकारी गुप्तेश्वर पांडेय व धार्मिक न्यास बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष किशोर कुणाल का हाथ है.
कहा, डीएम व एसपी की तैनाती के लिए पूर्व सीएम लालू प्रसाद व सीएम नीतीश कुमार के बीच जिले का बंटवारा हो चुका है.
इसी पॉलिसी के तहत डीएसपी व थानेदार की भी पोस्टिंग होती है. अपराध कैसे थमेगा? लेकिन, सीएम व डिप्टी सीएम दूसरे राज्यों से यहां के क्राइम रेट से तुलना कर पुलिस की पीठ थपथपा रहे हैं. इन नेताओं के रिश्तेदार के साथ ऐसा होता तो ये लोग क्या करते? लालू- नीतीश को कुरसी से प्यार है. मानव श्रृंखला अच्छी चीज है. पीएम भी समर्थन दे रहे हैं. लेकिन, शराबबंदी के साथ-साथ अपराधबंदी भी करनी होगी. पारू के जगदीशपुर वाया पंचायत के मुखिया पति अमरेंद्र कुमार व मोतिहारी में एके-47 से नपं उपाध्यक्ष सह व्यवसायी व दो आम लोगों को भून दिया गया. एक जीवन मौत से जूझ रहा है. लेकिन, जनता की आंसू पोछने वाला कोई नहीं है.