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पांच आरपीएफ जवान निलंबित

किशनगंज : गत मंगलवार रात्रि अप तिरुवनंतपुरम-गुवाहाटी एक्सप्रेस में यात्रियों की सुरक्षा में तैनात आरपीएफ एस्कॉर्ट पार्टी के जवानों द्वारा ट्रेन में सफर कर रहे यात्रियों से अवैध वसूली किये जाने तथा यात्रियों के संग अभद्र व्यवहार किये जाने मामले में मंगलवार देर रात्रि यात्रियों की लिखित शिकायत के आधार पर स्थानीय रेल थाना में […]

किशनगंज : गत मंगलवार रात्रि अप तिरुवनंतपुरम-गुवाहाटी एक्सप्रेस में यात्रियों की सुरक्षा में तैनात आरपीएफ एस्कॉर्ट पार्टी के जवानों द्वारा ट्रेन में सफर कर रहे यात्रियों से अवैध वसूली किये जाने तथा यात्रियों के संग अभद्र व्यवहार किये जाने मामले में मंगलवार देर रात्रि यात्रियों की लिखित शिकायत के आधार पर स्थानीय रेल थाना में दोषी पांच आरपीएफ कर्मियों के विरुद्ध केश दर्ज कर लिया गया है.

इस आशय की जानकारी देते हुए रेल एसपी जितेंद्र मिश्र ने बताया कि मामले के आरोपी हवलदार अरुण कुमार सिंह व ललित कुमार ठाकुर के साथ-साथ सिपाही नाजू नाथ, विमल चंद्र आलोक व काबुली धनपाल के विरुद्ध स्थानीय रेल थाना में कांड संख्या 25/15 दर्ज कर ली गयी है

तथा भादवि की धारा 419, 420, 384, 34 के साथ साथ 174ए, 145 रेलवे अधिनियम के तहत सभी आरोपियों को सस्पेंड कर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है. यहां बताते चले कि 12515 तिरुवनंतपुरम-गुवाहाटी एक्सप्रेस में तैनात आरपीएफ के एस्कॉर्ट पार्टी के जवानों द्वारा यात्रियों से अवैध वसूली व अभद्र व्यवहार किये जाने के बाद यात्रियों ने मंगलवार देर संध्या रेलवे स्टेशन पर जम कर हंगामा मचाया था.

यात्रियों के आक्रोश का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि हंगामे के दौरान स्थानीय आरपीएफ व जीआरपी को न केवल यात्रियों ने बंधक बना लिया बल्कि लगभग तीन घंटे तक तिरुवनंतपुरम-गुवाहाटी एक्सप्रेस को स्थानीय रेलवे स्टेशन पर ही रोक रखा.

इतना ही नहीं मामले को सुलझाने पहुंचे रेलवे के आलाधिकारियों को भी यात्रियों के कोप का भाजन बनना पड़ा. इस दौरान जब रेल अधिकारियों ने ट्रेन को खुलवाने की चेष्टा की तो यात्री ट्रेन में गार्ड व ड्राइवर से भी उलझ बैठे और ट्रेन की पटरियों पर बैठ कर अप व डाउन लाइन पर परिचालन पूरी तरह से ठप कर दिया. नतीजतन शताब्दी एक्सप्रेस के साथ-साथ कई अन्य गाड़ी व मालगाड़ी विभिन्न स्टेशनों पर घंटों रूकी रही.

यात्री वैक्यूम कर व चेन पुलिंग कर बार-बार ट्रेन को आगे बढ़ने से रोक देते थे. इधर, घटना की जानकारी स्थानीय पुलिस को मिलते ही थानाध्यक्ष आफताब अहमद दल-बल के साथ घटनास्थल पर पहुंच गये तथा आक्रोशित यात्रियों को समझाने-बुझाने का भरपूर प्रयास किया परंतु यात्री टस से मस नहीं हुए.

घटना की जानकारी मिलते ही एसडीओ मो शफीक व एसडीपीओ कामिनी वाला भी दल-बल के साथ स्थानीय रेलवे स्टेशन पहुंच गयी. दोनों अधिकारियों ने भी यात्रियों को समझाने का भरपूर प्रयास किया परंतु यात्री आरोपी आरपीएफ जवानों को यात्रियों को सौंपे जाने की मांग पर अड़े थे.

अंतत: अधिकारियों के अनुनय विनय के बाद यात्रियों ने मामले की लिखित शिकायत की जबकि अधिकारियों द्वारा आरोपी जवानों के विरुद्ध कानून सम्मत कार्रवाई करने का भरोसा दिये जाने के बाद कुछ यात्रियों का गुस्सा शांत हो गया. परंतु कुछ यात्री अपने खून-पसीने की कमाई को आरोपी जवानों द्वारा लूट लिये जाने से काफी नाराज थे

. अंतत: अधिकारियों ने रैफ को घटनास्थल पर बुला लिया. रैफ जवानों व पुलिस कर्मियों द्वारा हल्का बल प्रयोग करते ही यात्री अपने-अपने डिब्बों में जा बैठे. लगभग तीन घंटे से अधिक समय तक चले हंगामे के बाद अंतत: मंगलवार रात्रि 10.18 बजे ट्रेन अपने गंतव्य की ओर रवाना हो गयी और स्थानीय रेल अधिकारियों ने राहत की सांस ली.

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