21.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

बाढ़पीड़ितों को आस, इस बार अच्छी होगी धान की पैदावार

राहत . 3.40 लाख मीट्रिक टन धान उत्पादन की संभावना किशनगंज : किशनगंज जिले में बाढ़ के बाबजूद धान की अच्छी पैदावार होने की संभावना दिखाई दे रही है. इस साल जिले में तीन लाख 40 हजार मीट्रिक टन धान उत्पादन होने की संभावना है. जिले में पिछले साल की तुलना में 20 फीसदी धान […]

राहत . 3.40 लाख मीट्रिक टन धान उत्पादन की संभावना

किशनगंज : किशनगंज जिले में बाढ़ के बाबजूद धान की अच्छी पैदावार होने की संभावना दिखाई दे रही है. इस साल जिले में तीन लाख 40 हजार मीट्रिक टन धान उत्पादन होने की संभावना है. जिले में पिछले साल की तुलना में 20 फीसदी धान का उत्पादन अधिक होने का अनुमान विशेषज्ञ लगा रहे हैं. कृषि विभाग द्वारा क्रॉप कटिंग के बाद ही धान के उत्पादन का सही आंकड़े का पता चलेगा. पिछले साल जिले में दो लाख 83 हजार 800 मीट्रिक टन धान का उत्पादन हुआ था. कृषि विभाग के अनुसार इस साल 84 हजार हेक्टयर में धान की रोपनी हुई थी. बाढ़ के पानी में करीब चार हजार हेक्टयर जमीन में लगी धान की फसल को क्षति पहुंची.
80 हजार हेक्टयर में हुई है धान की खेती : सर्वे के बाद जिले में 80 हजार हेक्टयर में धान का फसल लगा है.जबकि बाढ़ से 4 हजार हेक्टेयर से अधिक में लगे धान के फसल को व्यापक नुकसान पहुचा. जिसमें से करीब 22 सौ हेक्टयर में लगे धान खेत में बालू जमा हो गया. बाढ़ के बाद धान की अच्छी फसल को देख किसानों में आशा की किरण दिखाई देने लगी है. धान उत्पादन होने से किसानों को आर्थिक रूप से थोड़ी राहत जरूर मिलेगा. करीब 60 हजार हेक्टेयर में लगी धान फसल तैयार हो गयी है. किसानों ने धान कटनी शुरू भी कर दी है. जिले के किशनगंज, कोचाधामन व पोठिया प्रखंड के किसान धान कटनी में जुटे हैं.
अभी तक फसल क्षति का नहीं मिला मुआवजा : बाढ़ से धान फसल को व्यापक नुकसान हुआ. जिले के करीब 10 हजार से अधिक किसानों को फसल क्षति का मुआवजा नहीं मिल सका है.जबकि खरीफ फसल का समय आ गया. फसल क्षति मुआवजा के आस में किसान सरकार व जिला प्रशासन टकटकी लगाए बैठे हैं.
अच्छी उपज की संभावना
धान उत्पादन विगत वर्ष की अपेक्षा अच्छी होने की संभावना है. विभाग स्तर से क्रॉप कटिंग शुरू करने का निर्देश नहीं मिला है. पिछले वर्ष दो लाख 83 हजार 800 एमटी धान उत्पादन हुआ था. सामान्य श्रीविधि प्रभेद 64 क्विंटल प्रति हेक्टेयर उत्पादन था.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें