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मॉडल कॉलेज की सूची से बाहर

केकेएम कॉलेज . अब नहीं मिल पायेगा रुसा व यूजीसी का आर्थिक लाभ 2013 में राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान के अंतर्गत बिहार के 27 कॉलेजों को मॉडल कॉलेज के रूप में किया गया था चयन जमुई : विश्व विद्यालय अनुदान आयोग नई दिल्ली राज्य सरकार तथा तिलका मांझी भागलपुर विश्व विद्यालय के निर्देश पर केकेएम […]

केकेएम कॉलेज . अब नहीं मिल पायेगा रुसा व यूजीसी का आर्थिक लाभ

2013 में राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान के अंतर्गत बिहार के 27 कॉलेजों को मॉडल कॉलेज के रूप में किया गया था चयन
जमुई : विश्व विद्यालय अनुदान आयोग नई दिल्ली राज्य सरकार तथा तिलका मांझी भागलपुर विश्व विद्यालय के निर्देश पर केकेएम कॉलेज में गठित नैक कमेटी के पूर्व सदस्यों ने बिहार सरकार द्वारा केकेएम कॉलेज को मॉडल कॉलेज की सूची से बाहर किये जाने पर काफी चिंता व्यक्त की है. प्रो गौरी शंकर पासवान ने कहा कि मॉडल कॉलेज की सूची से केकेएम कॉलेज को बाहर करने से रुसा और यूजीसी का आर्थिक लाभ नहीं मिल पायेगा.
गौरतलब है कि वर्ष 2013 में राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान के अंतर्गत बिहार के 27 कॉलेजों को मॉडल कॉलेज के रूप में चयन किया गया था. जिसमें के के एम कॉलेज 7 वें स्थान पर था. उन्होंने कहा कि इस संबंध में विहित प्रपत्र में भर कर परियोजना प्रतिवेदन राज्य सरकार को प्राचार्य द्वार ससमय उपलब्ध करा दिया गया था,
इसके बाबजूद भी मॉडल कॉलेज की सूची से केकेएम कॉलेज को बाहर कर दिया गया. प्रो सुरेंद्र सिंह ने कहा कि यूजीसी ने विश्वविद्यालयों एवं महाविद्यालयों के लिए नैक ग्रेडैशन आवश्यक कर दिया है.ऐसा नहीं होने पर रुसा एवं युजीसी से अनुदान मिलना मुश्किल हो जायेगा.
केकेएम कॉलेज को मॉडल कॉलेज की सूची से बाहर करना जमुई जिला का दुर्भाग्य ही कहा जायेगा. प्रो. मनोज कुमार ने कहा कि के के एम कॉलेज का नैक ग्रेडैशन अपरिहार्य है .अंगीभूत महाविद्यालयों के बेहतर के लिए ही भारत सरकार के रुसा के अंतर्गत के के एम कॉलेज को मॉडल कॉलेज के रूप में अपग्रेड करने हेतु चयनित किया गया था.
गठित नैक कमेटी के पूर्व सदस्यों ने िलया निर्णय
किन करणों से सूची से किया बाहर, उठे सावाल
किन करणों से के के एम कॉलेज को मॉडल कॉलेज के लिस्ट के से सूची से बाहर किया गया समझ से बाहर है. प्रो डी के गोयल ने कहा कि यदि मॉडल कॉलेज के लिस्ट से बाहर नहीं होता तो आज इसे भी भवन निर्माण , जीणैद्वार तथा प्रयोगशाला के उपकरणों के खर्च हेतु करोड़ों रुपये रुसा के तहत प्राप्त हो जाता.
ज्ञात हो कि शिक्षा मंत्री डा. अशोक चौधरी ने विगत 3 अप्रैल को बिहार के चयनित सभी कॉलेजों को एक एक करोड़ रुपया जारी किया था. पुरंतु दु:ख है कि हमारा कॉलेज इस लाभ से बंचित हो गया. उन्होने बताया कि यदि ऐसा नहीं होता तो कॉलेज का नैक ग्रेडैशन का रास्ता साफ हो जाता

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