21.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

उम्मीद 2016 : इंद्र बरसाएं कृपा, खेतों में आये हरियाली

उम्मीद 2016 : इंद्र बरसाएं कृपा, खेतों में आये हरियाली 2015 में प्रकृति किसानों की तोड़ चुकी है कमरबारिस से गेहूं की फसल और सूखे से खरीफ का हो चुका है नुकसान50 करोड़ से अधिक का किसान सह चुके हैं घाटावर्ष 2015 किसानों पर भारी रहा. प्रकृति की बेरुखी ने किसानों की कमर तोड़ दी. […]

उम्मीद 2016 : इंद्र बरसाएं कृपा, खेतों में आये हरियाली 2015 में प्रकृति किसानों की तोड़ चुकी है कमरबारिस से गेहूं की फसल और सूखे से खरीफ का हो चुका है नुकसान50 करोड़ से अधिक का किसान सह चुके हैं घाटावर्ष 2015 किसानों पर भारी रहा. प्रकृति की बेरुखी ने किसानों की कमर तोड़ दी. रबी की फसल असमय हुई बारिस की भेंट चढ़ गयी, तो खरीफ सूखे की चपेट में रही. 50 करोड़ से अधिक का नुकसान सह चुके किसान 2016 से बड़ी उम्मीद लगाये हैं कि खेतों में हरियाली आयेगी.गोपालगंज. 72 घंटे बाद वर्ष 2015 विदा हो जायेगा. वर्ष की यादों की समेटे नये वर्ष से सभी को एक नयी उम्मीद है. किसान सबसे ज्यादा इंद्र पर निगाह जमाये हैं कि इस वर्ष इंद्र अपनी कृपा दृष्टि किसानों पर बरसायेंगे, साथ ही सरकार भी किसानों को नयी सौगात देगी. अतीत पर नजर दौड़ाएं, तो फरवरी और मार्च, 2015 में हुई असामयिक आंधी और बारिश ने रबी फसल को पूरी तरह बरबाद करते हुए किसानों की कमर तोड़ डाली, जिसमें 45 हजार हेक्टेयर गेहूं की फसल पूरी तरह बरबाद हो गयी. हालांकि सरकारी आंकड़े में यह बरबादी 18878.6 हेक्टेयर की थी, जिसका आकलन प्रशासन ने 23 करोड़ किया. जमीनी हकीकत यह थी कि नुकसान 50 करोड़ से अधिक का था. बरबादी के बाद भी किसानों ने हिम्मत करके खरीफ पर अपना ध्यान बंटाया, मेहनत की लेकिन इंद्र इस बार रूठ गये. पांच वर्षों में पहली बार औसत से 600 मिमी कम बारिश हुई. नतीजतन धान की उपज सूखे की चपेट में चली गयी. इन दोनों ही परिस्थितियों में फसल क्षतिपूर्ति और डीजल अनुदान के रूप में आवंटन तो आये, बांटने का दावा भी किया गया, लेकिन किसान बिना लाभ पाये आज भी अपनी किस्मत पर आंसू बहा रहे हैं. अब किसानों को नये वर्ष से उम्मीद है. एक नजर में नुकसान और अनुदानकुल नुकसान – 45 हजार हेक्टेयरविभाग की नजर में नुकसान- 18878.6 हेक्टेयरआवेदकों की संख्या – 96137 प्रशासन की नजर में नुकसान वाले किसानों की संख्या – 79823अनुदान की राशि – 23 करोड़क्या है उम्मीद जनवरी 2016 में हो बारिश.जून से अक्तूबर तक आवश्यकता के अनुसार वर्षा.समय पर मिले डीजल अनुदानसिंचाई की हो पर्याप्त व्यवस्था.अनाज की कीमत लागत के अनुरूप हो तय.क्या होगी सौगात नहर प्रणाली होगी सुव्यवस्थित.बंद पड़े नलकूप होंगे चालू.20 फीसदी किसानों को पंपसेट से किया जायेगा लैस.अनुदान की राशि में होगी वृद्धि.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें