गया : गया काॅलेज में इंटरमीडिएट सत्र 2018-20 के 40 विद्यार्थी पिछले एक महीने से परेशान हैं और काॅलेज प्रशासन को उनकी परेशानी की कोई फिक्र नहीं है. ये बच्चे अपने अधर में फंसे भविष्य को लेकर मुश्किल में हैं. बुधवार को भी ये विद्यार्थी प्राचार्य से मिलने काॅलेज पहुंचे. लेकिन न तो वहां प्राचार्य मौजूद थे और न ही विद्यार्थियों से बात करने वाला कोई और जिम्मेदार पदाधिकारी.
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गया काॅलेज में इंटरमीडिएट के 40 छात्र छात्राओं को नहीं मिला रजिस्ट्रेशन नंबर
गया : गया काॅलेज में इंटरमीडिएट सत्र 2018-20 के 40 विद्यार्थी पिछले एक महीने से परेशान हैं और काॅलेज प्रशासन को उनकी परेशानी की कोई फिक्र नहीं है. ये बच्चे अपने अधर में फंसे भविष्य को लेकर मुश्किल में हैं. बुधवार को भी ये विद्यार्थी प्राचार्य से मिलने काॅलेज पहुंचे. लेकिन न तो वहां प्राचार्य […]
विद्यार्थियों ने बताया कि वे सभी सत्र 2018- 20 में नामांकित हैं. काॅलेज ने उन सभी का रजिस्ट्रेशन कराया, उसकी फीस भी ली गयी, जिसकी रसीद उन लोगों के पास है. अब जब अगले वर्ष होने वाली इंटरमीडिएट की फाइनल परीक्षा के लिए फाॅर्म भरे जा रहे हैं, तो इन विद्यार्थियों को पता चला कि उनका रजिस्ट्रेशन हुआ ही नहीं.
इन विद्यार्थियों को रजिस्ट्रेशन नंबर नहीं दिया गया, ऐसे में ये लोग फाॅर्म नहीं भर पा रहे. इस मामले में प्राचार्य की अनुपस्थिति में काम काज देख रहे काॅलेज के वरीय प्रशासनिक पदाधिकारी शशि रंजन रस्तोगी से बात की गयी, तो उन्होंने बताया कि उन्हें इसकी जानकारी नहीं थी. वह बुधवार को पाठ्यक्रम से ही जुड़े काम के लिए मगध विश्वविद्यालय कैंपस गये थे.
सीटों से ज्यादा लिया नामांकन : विद्यार्थियों ने आरोप लगाया कि काॅलेज प्रशासन ने इंटरमीडिएट काउंसिल द्वारा तय की गयी सीटों से अधिक नामांकन ले लिया. विद्यार्थियों को इसकी जानकारी भी नहीं दी गयी.
अब काउंसिल काॅलेज के लिए निर्धारित सीटों के आधार पर ही रजिस्ट्रेशन नंबर जारी कर रहा है, तो ये विद्यार्थी उसमें छंट गये हैं. विद्यार्थियों ने कहा कि इससे पहले जब वे काॅलेज प्रशासन के पदाधिकारियों से मिलने गये, तो पहले उन्हें टाल दिया गया.
एक दिन उन लोगों ने प्रदर्शन किया, तो पहले कहा गया कि उन्हें किसी और काॅलेज से रजिस्ट्रेशन करा कर परीक्षा दिला दी जायेगी. इस पर छात्रों ने आपत्ति जतायी कि उनका नामांकन लिया ही क्यों गया. सीट नहीं थी, तो नामांकन लिया ही नहीं जाना चाहिए था. इसके बाद विद्यार्थियों को 10 जुलाई को आने को कहा गया. बुधवार को जब वे लोग पहुंचे तो काॅलेज के प्रशासनिक विभाग में कोई था ही नहीं.
आंदोलन की तैयारी में छात्र :
छात्रों ने स्पष्ट कर दिया कि अब वे आंदोलन की तैयारी कर रहे हैं. पिछले एक महीने से वे सभी पदाधिकारियों के पास आरजू-मिन्नत कर रहे हैं, जबकि इसमें विद्यार्थियों की कोई गलती भी नहीं है. बावजूद इसके काॅलेज प्रशासन कोई समाधान निकालने के मूड में नहीं है. ऐसे में अब आंदोलन के अलावा कोई विकल्प भी नहीं बचता. छात्र सत्यम कुमार ने कहा कि किसी भी स्थिति में इन विद्यार्थियों का भविष्य बर्बाद नहीं होने दिया जायेगा. गलती काॅलेज प्रशासन ने की है, तो उन्हें ही समाधान भी करना होगा, नहीं तो आंदोलन जारी रहेगा.
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