बक्सर : अपराध की दुनिया में विश्वा ने 18 वर्ष की उम्र में ही कदम रख दी थी. बक्सर के औद्योगिक थाना क्षेत्र में डकैती की घटना को अंजाम देकर चर्चा में आया. 1992 में इसके खिलाफ डकैती का मामला दर्ज हुआ. इसके बाद से उसने पीछे मुड़ कर नहीं देखा. देखते- ही- देखते कई कांडों को अंजाम देकर भोजपुर और बक्सर जिलों के मोस्टवांटेड अपराधियों की सूची में शामिल हो गया
देखते- ही- देखते विश्वा नट ने एक गिरोह भी बना लिया, जिसका नाम भी उसने विश्वा ही रखा था. इस गिरोह के सदस्य विश्वा के इशारे पर ट्रेनों में डकैती, लूटपाट जैसी घटनाओं को अंजाम देते थे. विश्वा नट पर सबसे ज्यादा रेल में डकैती का ही मामला दर्ज है.
अपराध की दुनिया में जल्द ही इसने अपनी पकड़ बना ली और कई घटनाओं को अंजाम दिया. विश्वा नट की गिरफ्तारी बक्सर पुलिस के लिए चुनौती बनी हुई थी. मोस्टवांटेड पर बक्सर और भोजपुर जिले में दर्जन भर से ज्यादा मामले दर्ज हैं.