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पूर्वोत्तर राज्यों को राह दिखायेगा बिहार
नवनिर्मित कार्यालय सह प्रयोगशाला भवन का केंद्रीय कृषि मंत्री राधामोहन सिंह ने किया उद्घाटन विशेष पैकेज से बिहार के विकास का रास्ता खुला बक्सर : कृषि अनुसंधान, मशीनरी तथा कृषि क्षेत्र की बिजली के लिए 33 हजार करोड़ रुपये बिहार को पीएम ने दिये हैं. इससे बिहार के किसान और मजबूत होंगे. बिहार पूर्वोत्तर राज्यों […]
नवनिर्मित कार्यालय सह प्रयोगशाला भवन का केंद्रीय कृषि मंत्री राधामोहन सिंह ने किया उद्घाटन
विशेष पैकेज से बिहार के विकास का रास्ता खुला
बक्सर : कृषि अनुसंधान, मशीनरी तथा कृषि क्षेत्र की बिजली के लिए 33 हजार करोड़ रुपये बिहार को पीएम ने दिये हैं. इससे बिहार के किसान और मजबूत होंगे. बिहार पूर्वोत्तर राज्यों में कृषि विकास का केंद्र बनेगा.
उक्त बातें केंद्रीय कृषि मंत्री राधामोहन सिंह ने बक्सर के नगर भवन में बुधवार को कृषि विज्ञान केंद्र के नवनिर्मित कार्यालय सह प्रयोगशाला भवन के उद्घाटन के बाद कहीं. उन्होंने कहा कि देश में 645 कृषि विज्ञान केंद्र हैं और 50 जिले ऐसे हैं, जिनमें कृषि विज्ञान केंद्र की स्थापना नहीं हुई.
स्थापित कृषि विज्ञान केंद्रों में भी सुविधाएं नहीं हैं. अभी कृषि विज्ञान केंद्रों में छह से 10 कृषि वैज्ञानिक काम कर रहे हैं, लेकिन एक-डेढ़ साल के अंदर कृषि वैज्ञानिकों की संख्या 16 तक कर दी जायेगी. कृषि बजट की राशि का 90 फीसदी हिस्सा किसानों की योजनाओं पर खर्च किया जाता है और मात्र 10 फीसदी हिस्सा अनुसंधान पर खर्च होता है.
विशेष दज्रे से कई गुना ज्यादा मिला
कृषि मंत्री ने कहा कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग की जा रही थी. इसमें मात्र चार हजार करोड़ रुपये का पैकेज मिलता, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिहार को सवा लाख करोड़ का पैकेज दे दिया.
इससे बिहार के विकास का रास्ता खुलेगा. बिहार सरकार पर कटाक्ष करते हुए केंद्रीय कृषि मंत्री ने कहा कि बजट में पैसा नहीं होता, तो नया शिलान्यास क्यों करते. उन्होंने कहा कि कसूर राज्य के मुखिया का नहीं, बल्कि कसूर कुरसी का है. केंद्र सरकार ने बिहार को बहुत दिया, लेकिन बिहार सरकार उसे खर्च नहीं पायी है.
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