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फर्जी छात्र प्रकरण में कार्रवाई नहीं

भागलपुर : तिलकामांझी भागलपुर विवि की पार्ट वन परीक्षा में ताड़र कॉलेज व सीएम कॉलेज बौंसी के 500 से अधिक फर्जी छात्रों के मामले में विवि प्रशासन सुस्त पड़ गया है. पांच माह से अधिक समय बीत चुके हैं. अब तक जांच पूरी नहीं हो पायी है. फर्जी छात्र मामले को लेकर विवि प्रशासन द्वारा […]

भागलपुर : तिलकामांझी भागलपुर विवि की पार्ट वन परीक्षा में ताड़र कॉलेज व सीएम कॉलेज बौंसी के 500 से अधिक फर्जी छात्रों के मामले में विवि प्रशासन सुस्त पड़ गया है. पांच माह से अधिक समय बीत चुके हैं. अब तक जांच पूरी नहीं हो पायी है. फर्जी छात्र मामले को लेकर विवि प्रशासन द्वारा बनायी गयी चार सदस्यीय जांच टीम भी नरम पड़ गयी है. इसे लेकर प्रतिकुलपति प्रो एके राय ने कहा कि मामले को लेकर 12 नवंबर को जांच टीम व ताड़र कॉलेज व सीएम कॉलेज के प्राचार्यों को पूरे कागजात के साथ बैठक में बुलाया गया है.
जांच टीम के एक सदस्य ने बताया कि ताड़र कॉलेज की जांच और मिले कागजात से अब तक लगभग 278 छात्रों के फर्जी होने का मामला प्रकाश में आ रहा है. जबकि सीएम कॉलेज बौंसी में 300 से अधिक फर्जी छात्र हैं. जांच टीम के सदस्य ने बताया कि 12 नवंबर को मामले को लेकर दोनों कॉलेजों के साथ बैठक होगी.
जांच में पकड़े जाने पर कॉलेजों की हो सकती है मान्यता रद्द : फर्जी छात्र मामले में दोनों कॉलेजों के प्रति सही साक्ष्य मिल जाते हैं, तो कॉलेजों की मान्यता रद्द करने की अनुशंसा जांच टीम विवि कर सकती हैं. जांच टीम के एक सदस्य ने बताया कि अब तक की गयी जांच में दोनों कॉलेजों के विरुद्ध साक्ष्य मिल रहे हैं. कॉलेजों में छात्रों का नामांकन नहीं है. रजिस्ट्रेशन नवंबर भी नहीं है. विवि परीक्षा विभाग में दोनों कॉलेजों से जुड़े कागजात भी नहीं हैं. जांच टीम प्रथम दृष्टि में पूरे मामले को फर्जी बता रहा है.
क्या है मामला
विवि के सूत्रों के अनुसार टीएनबी कॉलेज में चल रही पार्ट वन परीक्षा मूल्यांकन के दौरान ताड़र कॉलेज के 300 से अधिक परीक्षार्थी का रिजल्ट फर्जी मिला. इसके अलावा सीएम कॉलेज बौंसी के भी लगभग 300 परीक्षार्थी फर्जी होने का मामला प्रकाश में आया था. टीआर में दोनों कॉलेज के छात्रों का नाम व रजिस्ट्रेशन नंबर गायब मिले थे. लेकिन टीआर में विषयवार नंबर अंकित किये गये थे. मूल्यांकन निदेशक डॉ योगेंद्र को दोनों कॉलेज के छात्रों का नाम व रजिस्ट्रेशन नंबर परीक्षा विभाग से मांगने पर कोई जानकारी नहीं मिली. मामला प्रकाश में आने पर ताड़र कॉलेज ने अपने कर्मचारी को मूल्यांकन केंद्र पर भेज कर कॉलेज का छात्र होने से इनकार किया. सीएम कॉलेज ने मामले को लेकर चुप्पी साध ली. मामले के तूल पकड़े जाने पर विवि प्रशासन ने जांच टीम का गठन किया था.
मामले को लेकर विवि की जांच टीम दोनों कॉलेजों की जांच कर चुकी है. जांच के क्रम में कॉलेजों ने फर्जी छात्र मामले में कुछ ही कागजात विवि को उपलब्ध कराया है. बाकी कागजात दोनों कॉलेज प्रशासन से मांगा गया है. 12 नवंबर को होनेवाली बैठक में सारे कागजात के साथ दोनों कॉलेज के प्राचार्य को बुलाया गया है. रिपोर्ट के आधार पर नियम के तहत दोनों कॉलेज के विरुद्ध कार्रवाई की जायेगी.
प्रो एके राय, प्रतिकुलपति टीएमबीयू

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