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ममलखा में शिक्षक कम, छात्र अधिक हैं तो पड़ोस के मसाढू में छात्र कम व शिक्षक अधिक, कोई तो सुध ले
प्रभारी डीइओ बोले, विभाग की कोई शक्ति नहीं, पंचायत को देखना होगा सबसे अधिक शिक्षा विभाग से जुड़ी आयीं शिकायतें समय पर किताब नहीं, स्कूल के जर्जर भवन पर चर्चा भागलपुर : जिला परिषद सभागार में एक साल बाद करीब तीन घंटे तक आम सभा शांतिपूर्वक हुई, जिसमें सबसे अधिक शिक्षा विभाग से जुड़ी शिकायतें […]
प्रभारी डीइओ बोले, विभाग की कोई शक्ति नहीं, पंचायत को देखना होगा
सबसे अधिक शिक्षा विभाग से जुड़ी आयीं शिकायतें
समय पर किताब नहीं, स्कूल के जर्जर भवन पर चर्चा
भागलपुर : जिला परिषद सभागार में एक साल बाद करीब तीन घंटे तक आम सभा शांतिपूर्वक हुई, जिसमें सबसे अधिक शिक्षा विभाग से जुड़ी शिकायतें चर्चा में रही. इनमें समय पर स्कूल में किताब का नहीं मिलना, स्कूल के भवन का जर्जर होना, शिक्षकों की अनुपात के आधार पर वितरण नहीं, पोशाक व साइकिल राशि का वितरण नहीं आदि मुद्दे पार्षदों ने उठाये. इस दौरान सबौर में शिक्षक व छात्रों के अनुपात का एक सवाल पार्षद ने उठाया. कहा, शिक्षा का हाल देखना है तो सबौर आइये. यहां के ममलखा के सरकारी स्कूल में शिक्षक कम व छात्र की संख्या अधिक हैं. उसके पड़ोस के मसाढू के स्कूल में छात्र कम शिक्षक अधिक है.
यह हाल पिछले कई महीनों से है और इसमें कोई सुध नहीं ले रहा है. इसके जवाब में डीइओ मधुसूदन पासवान ने बताया, पंचायत स्तर के स्कूल में शिक्षकों को इधर से उधर करने की शक्ति विभाग को नहीं है. यह पंचायत से ही होना है. इस जवाब से पार्षद असंतुष्ट हो गये तो उप विकास आयुक्त आनंद शर्मा ने हस्तक्षेप किया और कहा, जिला परिषद की शिक्षा समिति उक्त मामले को देखेगी और आवश्यक निराकरण करेगी. बैठक की शुरुआत पार्षद गौरव राय ने शेर से किया और कहा, हंगामा खड़ा करना मेरा मकसद नहीं, कोशिश ये है कि सूरत बदलनी चाहिए. मेरे दिल में न तेरे दिल पे सही, हो कहीं आग बस आग जलनी चाहिए. बैठक के दौरान जिप अध्यक्ष अनंत कुमार उर्फ टुनटुन साह, उपाध्यक्ष आरती कुमारी, डीडीसी आनंद शर्मा सहित सभी 27 पार्षद मौजूद थे.
पद को बैठक लेना था, व्यक्ति को नहीं. पिछले दिनों जिप की आम सभा में अनुपस्थित रहने के मामले में डीडीसी ने कहा कि पद को बैठक लेनी थी, व्यक्ति को नहीं. उस दिन डीआरडीए निदेशक प्रभारी डीडीसी थे और उन्हें बैठक लेनी थी. डीएम ने उन्हें शोकॉज किया है.
योजना राशि पर बात. डीडीसी ने बताया कि पार्षदों की विकास योजना पर अभियंता की सहमति नहीं हो सकी है. अभी तक जिला परिषद में अभियंता नहीं है और पंचायती राज विभाग से प्रतिनियुक्त अभियंता की संपुष्टि ले रहे हैं. पीएल खाता में जमा राशि के लिए वित्त विभाग से गाइडलाइन आयेगा. डीडीसी ने कहा कि जिला पार्षद की योजना को पंचायत सचिव से एनओसी लेना है. पंचायत सचिव के पास पंचायत की योजना रहती है. एक काम दो योजना में नहीं जाये, यह व्यवस्था ठीक रहेगा. जो भी पंचायत सचिव योजना को नहीं लेंगे, उन पर कार्रवाई होगी.
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