छह माह में छह काम भी नहीं होने का लगाया आरोप
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महापौर की रिपोर्ट कार्ड पर पूर्व मेयर ने लगाया प्रश्नचिह्न
छह माह में छह काम भी नहीं होने का लगाया आरोप बेगूसराय(नगर) : बेगूसराय नगर निगम में इन दिनों तकरार जारी है. पहले बेगूसराय सांसद डॉ भोला सिंह ने बेगूसराय नगर निगम के कार्यकलाप पर प्रश्नचिह्न लगाते हुए निगम में भ्रष्टाचार को लेकर करारा प्रहार किया था. अब बुधवार को बेगूसराय नगर निगम के पूर्व […]
बेगूसराय(नगर) : बेगूसराय नगर निगम में इन दिनों तकरार जारी है. पहले बेगूसराय सांसद डॉ भोला सिंह ने बेगूसराय नगर निगम के कार्यकलाप पर प्रश्नचिह्न लगाते हुए निगम में भ्रष्टाचार को लेकर करारा प्रहार किया था. अब बुधवार को बेगूसराय नगर निगम के पूर्व मेयर संजय सिंह ने महापौर उपेंद्र प्रसाद सिंह के द्वारा अपने कार्यकाल के छह माह पूरा होने के उपलक्ष्य में जारी की गयी रिपोर्ट कार्ड पर ही प्रश्नचिह्न खड़ा कर दिया है. पूर्व मेयर श्री सिंह ने कहा कि छह माह के अंदर निगम में छह काम भी नहीं हो पाया है. उन्होंने कहा कि महापौर ने रिपोर्ट कार्ड में जिन योजनाओं का जिक्र किया है
,उसमें से अधिकांश योजनाएं मेरे कार्यकाल के दौरान की ही है. बेगूसराय में बस स्टैंड का सवाल हो या फिर डोर टू डोर कचरा उठाने वाली योजना का सवाल हो सभी योजनाएं मेरे समय की है. पूर्व मेयर ने कहा कि पिछले दिन हाइमास्ट लाइट में तत्कालीन प्रभारी नगर आयुक्त एवं उप महापौर के बीच काफी आरोप-प्रत्यारोप का दौर चला.
पूर्व मेयर ने कहा कि निगम कर्मियों से भुगतान करने के लिए मारपीट भी की गयी. जो दुर्भाग्यपूर्ण है. ये सभी बातें महापौर के संज्ञान में रहने के बावजूद उनके द्वारा इस पर किसी प्रकार की चर्चा नहीं करना दुर्भाग्यपूर्ण है. उन्होंने कहा कि उप महापौर के द्वारा कैशबुक, चेकबुक लेकर फरारी का आरोप तत्कालीन प्रभारी नगर आयुक्त पर लगाया गया. जबकि तत्कालीन प्रभारी नगर आयुक्त के द्वारा उप महापौर पर जान से मारने की धमकी का आरोप लगाते हुए वरीय पदाधिकारियों को सूचना दी गयी.
जिसकी जांच उप विकास आयुक्त के स्तर से भी की गयी है. पूर्व मेयर ने कहा कि महापौर के द्वारा डस्टबीन के क्रय को लेकर भी प्रश्न उठाया गया है. उन्होंने कहा कि डस्टबीन का क्रय बोर्ड सशक्त स्थायी समिति के निर्णय के अनुसार विभागीय निर्देश के आलोक में बुडको से किया गया. डस्टबीन क्रय के लिए पूर्व में कार्यालय ज्ञापांक 199 दिनांक 27.10.16 द्वारा आपूर्ति के लिए पत्र दिया गया. लेकिन आपूर्ति माह अप्रैल 16 में हुआ है. यदि सामग्री की गुणवत्ता घटिया थी तो कार्यालय के द्वारा क्यों सामग्री प्राप्त की गयी. अपने स्तर से या फिर कार्यालय स्तर से विभाग को क्यों नहीं सूचित किया गया.
पूर्व मेयर ने कहा कि मेरे कार्यकाल में दिसंबर में शौचालय निर्माण स्वच्छ भारत मिशन के तहत प्रारंभ किया गया. जिसके अंतर्गत दिसंबर 15 एवं जनवरी 16 में लगभग 1100 लाभुकों को कार्यादेश दिया गया एवं 800 लाभुकों को राशि उपलब्ध करायी गयी. माह अगस्त 2016 में दो वार्डों को आरडीएफ करना था जो नहीं किया गया.
अब तक एक भी लाभुक को द्वितीय किस्त नहीं दी गयी है. पूर्व मेयर ने आरोप लगाया कि निगम बोर्ड की बैठक प्रत्येक माह एवं सशक्त की बैठक 15 दिनों में करने का प्रावधान है लेकिन इसका अनुपालन नहीं किया जा रहा है. बाढ़ जैसी विभीषिका में भी बोर्ड की बैठक आहूत नहीं की गयी. इस मौके पर निगम पार्षद उमेश पासवान, धर्मेंद्र कुमार उपस्थित थे.
महापौर की रिपोर्ट कार्ड के सच को दिखाते पूर्व मेयर संजय सिंह
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