हालांकि, अभी बिजली घर से बिजली का उत्पादन शुरू नहीं हुआ है, लेकिन उद्योग लगने लगे हैं. कई उद्यमियों के आने की आहट सुनाई पड़ रही थी. इसी बीच एक जून को श्रीसीमेंट प्लांट में अपराधियों द्वारा तोड़-फोड़, गोलीबारी व मारपीट की गयी. इसके पांच आरोपित अभी भी फरार हैं. इस घटना ने औरंगाबाद की प्रतिष्ठा को शर्मसार कर दिया और यहां उद्योग धंधे लगाने वाले लोगों की चहलकदमी रूक गयी है.
अपराधी किसी प्रकार प्लांट के भीतर घुस गये. सुरक्षा गार्ड से लेकर कैटिंन के लोगों के साथ मारपीट, तोड़-फोड़, गोलीबारी व लूटपाट की. इस घटना से श्री सीमेंट प्लांट में दहशत फैल गया. स्थिति काफी विस्फोटक हो गयी थी. हालांकि, पुलिस वहां पर पहुंची और एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया. मुफस्सिल थाने में घटना की प्राथमिकी दर्ज हुई. छह लोग आरोपित बनाये गये.
जिला प्रशासन व पुलिस ने श्री सीमेंट को आश्वस्त कराया कि घटना में शामिल अपराधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जायेगी. आरोपितों पर सीसीए लगाया जायेगा. प्रशासन द्वारा दिये गये आश्वासन से श्री सीमेंट को विश्वास वापस लौटा. लेकिन अभी तक मात्र एक आरोपित की गिरफ्तारी हुई है, जो घटना के समय ही पकड़ा गया था. बाकी पांच आरोपित अभी भी फरार हैं. घटना का जांच रिपोर्ट 19 जून को ही एसडीपीओ अजय नारायण यादव ने एसपी को सुपुर्द कर दिया. फरार आरोपितों के विरुद्ध कुर्की जब्ती करने का आदेश दिये गये, लेकिन अभी तक फरार आरोपितों के विरुद्ध पुलिस कार्रवाई नहीं कर पायी है. इससे अन्य उद्यमियों तक यह संदेश चला गया कि औरंगाबाद में अपराधी उद्योग धंधा में बाधक बनते हैं.