पटना:दवा घोटाले मामले में निलंबित अधिकारी आदेश का इंतजार कर रहे हैं. इसके बाद वे कोर्ट का दरवाजा खटखटायेंगे. विभागीय सूत्रों की मानें, तो सोमवार को निलंबित अधिकारियों को पत्र भेजा जायेगा. इसमें कुछ विभागीय अधिकारी भी हैं, जिन पर विभागीय कार्रवाई भी की जायेगी. बाकी अधिकारियों के संबंधित विभाग को पत्र लिख कर निलंबन की अनुशंसा की जायेगी. इसके बाद जब निलंबित होनेवाले अधिकारियों के पास आदेश पहुंचेगा, तो वे कोर्ट जायेंगे. मामले में दोषी पाये गये एक अधिकारी ने कहा कि उनका इस मामले में कोई हाथ नहीं है, लेकिन जब विभाग की ओर से आदेश प्राप्त होगा, तो उसमें कारण भी बताया जायेगा. इसके बाद अगर रिपोर्ट संतोषजनक होगी, तो सरकार की बात मान लेंगे, वरना हमलोग कोर्ट जायेंगे और अपना दोष मुक्त कराने के लिए विभाग के अन्य अधिकारियों को भी पार्टी बनायेंगे. फिलहाल अभी आदेश और उसके साथ लगी रिपोर्ट का इंतजार है.
स्वास्थ्य मंत्रियों पर भी होगी कार्रवाई : जदयू
पटना:जदयू के प्रवक्ता व विधान पार्षद संजय सिंह ने कहा है कि मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी का दवा घोटाला मामले परकार्रवाई काबिले तारीफ है. दवा घोटाला की जांच रिपोर्ट आने के बाद सरकार ने दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की है. सरकार ने बीएमएसआइसीएल के प्रबंध निदेशक प्रवीण किशोर समेत तकनीकी कमेटी के 10 सदस्यों को निलंबित कर दिया है. सरकार ने विभाग के तत्कालीन संयुक्त सचिव संजय कुमार के निलंबन की अनुशंसा केंद्र सरकार को भेज दी है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार इस मामले में गंभीर है. जिन स्वास्थ्य मंत्रियों के कार्यकाल में घोटाले हुए हैं उन पर भी कार्रवाई होगी. हालांकि भाजपा नेता सीबीआइ जांच की इसलिए मांग कर रहे हैं क्योंकि केंद्र में उनकी सरकार है और वे जैसा चाहेंगे वैसी रिपोर्ट बनेगी. भाजपा नेताओं को किसी भी जांच एजेंसी पर विश्वास नहीं होता है.
पीआइएल करेंगे चौरसिया
दवा घोटाला की सीबीआइ जांच की मांग को लेकर विधायक रामेश्वर चौरसिया हाइकोर्ट में पीआइएल दायर करेंगे. उन्होंने कहा कि चारा घोटाला से भी बड़ा है दवा घोटाला. उन्होंने कहा कि चारा घोटाला में जहां पशुओं का चारा हजम कर लिया गया था,वहीं दवा घोटाला में लोगों को महंगी दवा जहर के रूप में दी गयी. इससे राज्य की जनता को नुकसान हुआ है. उन्होंने मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी से घोटाले के आरोपित को नहीं बचाने की अपील करते हुए कहा है कि घोटाला में अधिकारी जब दोषी हैं, तो मुख्यमंत्री कैसे बच सकते हैं.