यूं तो भारत में अलग-अलग मुद्दों पर राजनीति होती आयी है, लेकिन वर्तमान समय में जिस मुद्दे पर राजनीति हो रही है वह वाकई शर्मनाक है़ भारतीय सेना ने सर्जिकल स्ट्राइक कर एक ओर जहां पाकिस्तान से बदला लिया, वहीं दूसरी ओर इस सर्जिकल स्ट्राइक ने भारतीय राजनीति को एक मुद्दा दे दिया.
अरविंद केजरीवाल द्वारा सबूत मांगे जाने को मुद्दा बनाकर भाजपा ने खुद को सबसे देशभक्त पार्टी साबित करने की कोशिश की़ वहीं राहुल गांधी के खून की दलाली के बयान को मुद्दा बनाकर अमित शाह ने प्रेस कांफ्रेंस कर यह कह दिया कि सर्जिकल स्ट्राइक को वो चुनावी मुद्दा बनाकर जनता के बीच जायेंगे़ मोदी सरकार और भाजपा को सर्जिकल स्ट्राइक पर जनता की सहानुभूति मिलती देख कांग्रेस भी इस मुद्दे के साथ मैदान में कूद गयी है कि यूपीए सरकार के शासन काल में भी सर्जिकल स्ट्राइक हुए हैं और अब कांग्रेस भी राजनीतिक फायदा लेने के लिए गड़े मुर्दे उखाड़ रही है़ सर्जिकल स्ट्राइक और सेना एक नया राजनीतिक मुद्दा बना है और हर कोई इसका लाभ लेना चाह रहा है़ राजनीति राष्ट्रहित और जनहित से दूर हो गयी है.
राजेश कुमार, रांची