नयी दिल्ली : दिल्ली की एक अदालत ने इंडियन मुजाहिद्दीन के सह संस्थापक यासीन भटकल और उसके निकट सहयोगी असदुल्ला अख्तर को दिल्ली पुलिस की हिरासत में आज 20 दिसम्बर तक के लिए भेज दिया. 13 सितम्बर 2008 के सिलसिलेवार बम विस्फोट मामले में उसे दिल्ली पुलिस की हिरासत में भेजा गया है.
सितम्बर 2010 के जामा मस्जिद आतंकवादी हमला मामले में रिमांड खत्म होने के बाद भटकल और अख्तर को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश दया प्रकाश की अदालत में पेश किया गया. दिल्ली पुलिस के विशेष प्रकोष्ठ ने अदालत से कहा कि जामा मस्जिद आतंकवादी हमला मामले में उनसे हिरासत में और पूछताछ करने की आवश्यकता नहीं है.
बहरहाल पुलिस ने कहा कि 13 सितम्बर 2008 के करोल बाग विस्फोट के सिलसिले में उनसे पूछताछ किए जाने की आवश्यकता है. राष्ट्रीय राजधानी में उस दिन कई बम विस्फोट हुए थे जिसमें 26 लोगों की जान चली गई और 135 लोग जख्मी हो गए.
अदालत ने पुलिस की याचिका को मंजूरी दे दी और भटकल एवं अख्तर को 20 दिसम्बर तक पुलिस हिरासत में भेज दिया. करोल बाग के गफ्फार मार्केट, कनॉट प्लेस के बाराखंभा रोड, ग्रेटर कैलाश के एम-ब्लॉक मार्केट में सिलसिलेवार बम विस्फोटों और इंडिया गेट के नजदीक बम की बरामदगी के सिलसिले में पांच मामले दर्ज किए गए थे.
वर्ष 2008 के सिलसिलेवार बम मामले में इंडियन मुजाहिद्दीन के 13 संदिग्ध सदस्य मुकदमे का सामना कर रहे हैं. इन 13 लोगों में से पांच को बटला हाउस मुठभेड़ के बाद 19 सितम्बर 2008 को गिरफ्तार किया गया था.